रोजाना 600 से 700 मरीजों का हो रहा उपचार
मधेपुरा. तेजी से बढ़ते तापमान और उमस भरी गर्मी के कारण जिले में स्वास्थ्य व्यवस्था पर दबाव बढ़ता जा रहा है. रोजाना 600 से 700 मरीजों का इलाज करने वाले सदर अस्पताल में गर्मी से होने वाली बीमारियों का प्रकोप तेजी से फैल रहा है. विशेषकर डायरिया, उल्टी और दस्त जैसी संक्रामक बीमारियों ने आम जनता को बेहाल कर दिया है.गर्मी व खानपान का ध्यान जरूरी
डॉक्टरों का कहना है कि इस मौसम में खानपान का ख्याल रखना जरूरी है. सुबह के नाश्ते में पोहा, उपमा, इडली, सूखे टोस्ट, परांठा जैसे हल्के व सुपाच्य खाद्य पदार्थ ही खाएं. दोपहर में तले-भुने खाने से बचें और दाल, सब्जी, सलाद, रोटी का सेवन करें. रात का भोजन रोटी व सब्जी ही बेहतर है. सूप व हल्दी मिला हुआ दूध भी इस मौसम में फायदेमंद माना जा रहा है. डॉक्टर पवन ने कहा कि मौसम में बदलाव के चलते स्वास्थ्य का ध्यान रखना आवश्यक है, और यदि तबीयत बिगड़े तो तुरंत अस्पताल पहुंचे.स्वच्छता व सावधानी का ख्याल
डॉ पवन ने कहा कि साफ-सफाई का विशेष ध्यान रखें. घर और आस-पास के क्षेत्र को स्वच्छ बनाये रखें, जलजमाव वाली जगहों पर ब्लीचिंग पाउडर का छिड़काव करें और उबला हुआ पानी ही पिएं. बच्चों को ठंडे पानी से नहलाने से बचें और सावधानी बरतें ताकि मौसम परिवर्तन से होने वाली बीमारियों से बचा जा सके.मौसमी बीमारियों का बढ़ाव: अस्पताल में उपलब्ध दवाइयां
सदर अस्पताल के उपाधीक्षक डॉ सचिन कुमार ने कहा कि बदलते मौसम के कारण बुखार, डायरिया और उल्टी दस्त के मरीजों की संख्या में इजाफा हुआ है. अस्पताल में दवाइयों की कोई कमी नहीं है और चिकित्सकों द्वारा रोगियों को आवश्यक सलाह दी जा रही है. रोजाना चार से पांच मरीजों का डायरिया से संबंधित उपचार किया जा रहा है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

