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बौरना पंचायत के ओपन जिम खरीदारी में गोलमाल, बीडीओ ने सौंपी जांच रिपोर्ट

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बौरना पंचायत के ओपन जिम खरीदारी में गोलमाल, बीडीओ ने सौंपी जांच रिपोर्ट

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गोगरी. प्रखंड के विभिन्न पंचायतों में लोगों के स्वस्थ सेहत के लिए सरकार ने ओपन जीम की स्थापना की है. इसकी जिम्मेदारी मुखिया को दी गयी है. पंचायत के ओपन जीम भ्रष्टाचारियों की भेंट चढ़ गया है. ऐसा ही मामला गोगरी प्रखंड के बौरना पंचायत से सामने आया है, जिसमें बीडीओ राजाराम पंडित ने संज्ञान ले लिया है. बीडीओ ने मामले की जांच बाद जिला पंचायती राज पदाधिकारी को रिपोर्ट सौंप दिया है. मालूम हो कि बौरना पंचायत में ओपन जिम खरीदारी में गोलमाल की गयी है. इसकी जांच बीडीओ ने कर जिला पंचायती राज पदाधिकारी को सौंप दी है.

बीडीओ ने टेंडर को किया रद्द

बीडीओ राजाराम पंडित ने बौरना पंचायत के ओपन जिम के टेंडर को रद्द कर दिया. पेमेंट पर भी रोक लगा दी है. पुनः टेंडर कराने के लिए जिला पंचायती राज पदाधिकारी को पत्र भेज दिया है. जिले में सभी पंचायतों में विकास कार्यों के लिए राज्य व केंद्र सरकार अलग-अलग बजट पारित किया है. इसी बजट से सड़क, नाली, ओपन जिम सहित अन्य विकास कार्य होते हैं. जिम के लिए सभी पंचायतों को 12 उपकरण खरीदने के निर्देश दिए हैं. इसमें चेस्ट शोल्डर प्रेस, ट्रिपल हिप ट्विस्टर, डबल आर्म व्हील, डबल चिनअप बार, डबल पैरलल बार, डबल सीट ट्विस्टर शामिल है.

क्या है मामला

मालूम हो कि पंचायत में ओपन जिम लगाने के लिए पांच लाख रुपये में कुल 12 जिम सामग्री लगाने का आदेश दिया गया था, जिसमें जैम पोर्टल से खरीदारी करना था और इसके लिए नियमानुसार टेंडर की प्रक्रिया होना था. टेंडर भी किया गया और ठेकेदार ने मात्र सात सामग्री ही लगाया और पांच लाख का बिल थमा दिया. बताया जाता है कि ठेकेदार ने बौरना पंचायत के मुखिया से जैम पोर्टल का आईडी और पासवर्ड ले लिया और खरीदारी कर लिया.

कमीशन के भेंट चढ़ा ओपन जिम

कमीशन के चक्कर में ग्राम पंचायतों ने जिम के उपकरण तो खरीद लिए, लेकिन अब इनके संचालन से मुखिया मुंह फेर रहे हैं. प्रखंड की सभी ग्राम पंचायतों में ओपन जिम के उपकरण बदहाल पड़े हैं. कुछ पंचायतों में मशीनें लग भी गयी है, तो वहां पर कोई प्रयोग नहीं हो रहा है. सिर्फ बच्चों के खिलौना के तौर पर खेल रहे हैं. बताया जाता है कि जिम का उपयोग नहीं कर रहे हैं. स्थानीय ग्रामीणों की माने तो जिम में खर्च किए गए पांच लाख रुपये बैकार हो गया है. सूत्रों की माने तो ओपन जिम के उपकरणों की खरीदारी में पंचायतों ने मोटी कमीशन ली गय है. ऐसे में जिम्मेदारों ने कमीशन के चक्कर में मशीनें तो खरीद ली, लेकिन अब इनके संचालन से पंचायतें पीछे हट रही हैं. इसी कारण हर पंचायत में अधिकांश गांव में ओपन जिम की यह मशीनें धूल फांक रही है. कुछ पंचायतों में अगर इनकी स्थापना हो भी गई है तो वहां पर प्रयोग में नहीं लाई जा रही है. आधी-अधूरी मशीनें लगाकर खाना पूर्ति कर दी गई है.

कहते हैं बीडीओ

बौरना पंचायत में ओपन जिम के समान खरीदारी में लापरवाही सामने आयी थी, जिसकी जांच कर रिपोर्ट जिला पंचायती राज पदाधिकारी को सौंपा गया है, अब आगे जिला पंचायती राज पदाधिकारी के निर्देश के बाद आगे की कार्रवाई की जायेगी.

राजाराम पंडित, बीडीओ, गोगरी.

डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

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