परबत्ता. प्रखंड के सौढ दक्षिणी पंचायत अंतर्गत मथुरापुर गांव में सात दिवसीय श्रीमद्भागवत कथा से क्षेत्र का माहौल भक्तिमय हो गया है. कथा मध्य प्रदेश के झांसी से पहुंची राष्ट्रीय प्रवचन वाचिका व्यास पूजा द्विवेदी ने भगवान नाम का महत्व की चर्चा करते हुए कहा कि प्रभु का केवल नाम जपने से इस संसार रुपी भवसागर से पार हो जायेगा. भागवत कथा सुनने का बड़ा महत्व है. मान्यता है कि भागवत कथा का लाभ सुनने और सुनाने वाले दोनों की मनःस्थिति पर निर्भर करता है. यदि कथा सुनने और सुनाने वाले की मनःस्थिति शुद्ध और निस्वार्थ होती है, तो कथा का पूर्ण लाभ मिलता है और व्यक्ति को शांति और मोक्ष की और ले जाते हैं. कथा सुनने से मनुष्य को भक्ति के लिए ज्ञान की प्राप्ति होती है. उसी के आधार पर उसे मुक्ति मिलती है. कहा कि प्रत्येक प्राणी किसी न किसी तरह से दुखी व परेशान है. कोई स्वास्थ्य से दुखी है, कोई परिवार, कोई धन, तो कोई संतान को लेकर परेशान है. सभी परेशानी से मुक्ति पाने के लिए ईश्वर की आराधना ही एकमात्र मार्ग है. इसलिए व्यक्ति को अपने जीवन का कुछ समय हरिभजन में लगाना चाहिए. उन्होंने कहा कि भागवत कथा वह अमृत है, जिसके पान से भय, भूख, रोग व संताप सब कुछ स्वत: ही नष्ट हो जाता है. उन्होंने कहा कि व्यक्ति को मन, बुद्धि, चित एकाग्र कर अपने आप को ईश्वर के चरणों में समर्पित करते हुए भागवत कथा को ध्यानपूर्वक सुनना चाहिए. श्रीमद भागवत कथा का श्रवण करने से जन्म जन्मांतर के पापों का नाश हो जाता है. आयोजन कर्ता के रूप में हरेराम चौधरी,श्री राम चौधरी, मंच संचालक सेवानिवृत्त शिक्षक सच्चिदानंद कुंवर ने किया. मौके पर सुदर्शन भारद्वाज, राजा, सुमित, अमर चौधरी आदि उपस्थित थे.
डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है