गिद्धौर. दिल्ली विश्वविद्यालय के सत्यवती महाविद्यालय में शनिवार को आयोजित वार्षिकोत्सव समारोह में बतौर मुख्य अतिथि भारत सरकार के खाद्य प्रसंस्करण उद्योग मंत्री एवं जमुई के पूर्व सांसद चिराग पासवान को बाबा कोकिलचंद धाम को पर्यटन स्थल के रूप में विकसित करने से जुड़ा एक ज्ञापन सौंपा गया. प्रखंड अंतर्गत पड़नेवाले गंगरा गांव के बाबा कोकिलचंद धाम गंगरा को धार्मिक पर्यटन स्थल के रूप में विकसित करने, गंगरा को आदर्श ग्राम घोषित करने मंत्री द्वारा इस गांव को गोद लेने संबंधी एक ज्ञापन दिया गया है. उक्त मांग पत्र दिल्ली विश्वविद्यालय के हिंदी विभाग में कार्यरत सहायक प्राध्यापक सह बाबा कोकिलचंद विचार मंच ट्रस्ट गंगरा गिद्धौर के मार्गदर्शक मंडल के सदस्य उत्तम कुमार सिंह ने सौंपा. उन्होंने मंत्री चिराग पासवान को दिये ज्ञापन में विस्तारपूर्वक बताया कि जमुई जिले के गंगरा गांव में स्थित बाबा कोकिलचंद धाम बीते कई दशकों से इस इलाके के धार्मिक लोगों के लिए लोक आस्था का केंद्र माना जाता रहा है, जहां कई पीढ़ियों से बाबा कोकिलचंद की पूजा निरंतर होती चली आ रही है. इस धाम में स्थापित मंदिर का पंजीकरण बिहार राज्य धार्मिक न्यास परिषद पटना से विधिवत रूप से किया गया है. उन्होंने बताया कि बाबा कोकिलचंद ने समाज को जोड़े रखने के लिए तीन त्रिसूत्र मंत्र दिये हैं. इसमें शराब से दूर रहना, नारी का सम्मान करना एवं अन्न की रक्षा करना, गांव वासियों के जीवन में आज भी प्रासंगिक है. आवेदन में इस पवित्र स्थल को धार्मिक एवं सांस्कृतिक पर्यटन केंद्र के रूप में विकसित करने, केंद्र सरकार की विभिन्न योजनाओं के अंतर्गत विशेष सहायता देने एवं गंगरा गांव को आदर्श ग्राम योजना के अंतर्गत गोद लेने का मांगों से संबंधित ज्ञापन सौंप अनुरोध किया गया है. आवेदन में यह भी उल्लेख किया गया है कि गिद्धौर राज रियासत के तत्कालीन महाराजा हरि सिंह द्वारा बाबा कोकिलचंद धाम को 13 एकड़ भूमि दान स्वरूप प्रदान की गयी थी, जो इस क्षेत्र की ऐतिहासिक महत्ता का बखान करती है. बाबा कोकिलचंद धाम की आध्यात्मिक गरिमा और प्राकृतिक सौंदर्य पर्यटकों को वर्षों से अपनी ओर आकर्षित करता रहा है. यहां हर वर्ष हजारों की तादात में अंतरजिला भर के श्रद्धालु भक्त बाबा कोकिलचंद के मंदिर में पिंड दर्शन के लिए आते हैं. बिहार सरकार द्वारा भी पूर्व में इस स्थल को सांस्कृतिक धरोहर के रूप में देखा जा रहा है. यह गांव सदियों से जमुई वासियों के लिए बिहार सहित अन्य प्रदेशों में शराब मुक्त गांव का संदेश देता आ रहा है. मौके पर बाबा कोकिलचंद विचार मंच से जुड़े समारोह में डॉ मुन्ना पाण्डेय, डॉ आशुतोष तिवारी, डॉ गजेन्द्र, डॉ कामाख्या नारायण तिवारी जैसे दिल्ली विश्वविद्यालय व सत्यवती महाविद्यालय के ख्यातिलब्ध व्याख्याता मौजूद थे, जिनकी देखरेख में मंत्री चिराग पासवान को ज्ञापन सौंपा गया है. वहीं बाबा कोकिलचंद मंदिर गंगरा के सचिव चुनचुन कुमार ने इस मांग की सराहना करते हुए मंदिर की ऐतिहासिकता, सांस्कृतिक विरासत, और सामाजिक प्रभाव के साथ धार्मिक विकास से जुड़ी संभावनाओं को देखते हुए इसे जरूरी पहल बताया. यह पहल न केवल बिहार राज्य में धार्मिक पर्यटन को बढ़ावा देने का एक सकारात्मक प्रयास होगा अपितु ग्रामीण विकास और सांस्कृतिक पुनरुत्थान की दिशा में कारगर पहल साबित होगा.
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