= बिहुला-विषहरी गाथा की सहायक नायिका थी नेतुला धोबिन
प्रतिनिधि, नाथनगर
मंगलवार को श्रावण कृष्ण पंचमी पर नाथनगर स्थित मनसा मंदिर में प्रसिद्ध बेड़ा पांच पर्व श्रद्धा और परंपरा के साथ मनाया गया. इस अवसर पर बिहुला-विषहरी गाथा की सहायक नायिका नेतुला धोबिन की विशेष पूजा की गयी. धोबी समाज द्वारा डलिया में विविध उपचारों को सजा कर नेतुला को चढ़ाया गया. मान्यता है कि नेतुला के संग से ही बिहुला को स्वर्ग की यात्रा और इच्छित वर की प्राप्ति हुई थी. अत: नेतुला को विषहरी पूजा में पूजनीय स्थान प्राप्त है. इस वर्ष कर्क संक्रांति 16 जुलाई को पड़ने के कारण बेड़ा पांच के साथ ही 15 जुलाई को गंध, धूप पूजा का आयोजन भी हुआ. परंपरा के अनुसार, गंध धूप के दिन मनसा देवी मंदिर में देवी की पिंड कलश रहित थी. पूजा की शुरुआत मंदिर के मुख्य पुजारी संतोष झा के द्वारा देवी से आज्ञा प्राप्त कर कुंभकार देवानंद पंडित के घर ‘बारी कलश’ लाने से हुई.कलश पूजा में की गयी पांचों विषहरी की पूजा
कलश पूजन में पांचों विषहरी – जया, दुतीला भवानी, पद्मा कुमारी, आदिकसुमिन और मैना विषहरी का आह्वान किया गया. विशेष रूप से देवी जया को नाग के मस्तक पर स्थापित कर उनका रूप वर्णित किया गया. नीले अंबर से सुसज्जित, धनुष-बाण एवं नाग धारण किये हुए, मस्तक पर नाग मुकुट व ललाट पर नाग की बिंदी के साथ. कलश पूजन के पश्चात सभी श्रद्धालु दीप लेकर मंदिर पहुंचे, जहां देवी के पिंड पर छह खड़ी सिंदूर रेखा देकर शृंगार कर नैवेद्य अर्पित किया गया. पूजन में मुख्य पंडा संतोष झा, अजीत झा, साहित्यकार आलोक कुमार, मंजूषा कलाकार हेमंत कश्यप, गौरी शंकर, चंद्रशेखर, नंदकिशोर, विनय लाल, संजय लाल, रामशरण दास समेत मनसा देवी मंदिर समिति के सदस्य एवं सैकड़ों श्रद्धालु सम्मिलित हुए.
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