– सात दिनों के अंदर समिति गठन कर प्रतिवेदन समर्पित करने का निर्देश- सर्वाधिक पीरपैंती के नौ, तो शाहकुंड के सात एचएम पर कार्रवाई
– जिलाधिकारी के निर्देश पर माध्यमिक शिक्षा डीपीओ ने लिया एक्शनसंवाददाता, भागलपुर
जिले के 54 उच्च माध्यमिक विद्यालयों में प्रबंध समिति का गठन नहीं करने और बिना अनुमोदन राशि खर्च करने के मामले में जिला शिक्षा विभाग ने कड़ा रुख अपनाया है. डीपीओ माध्यमिक शिक्षा ने डीएम के आदेश पर संबंधित प्रधानाध्यापकों का वेतन तत्काल प्रभाव से स्थगित कर दिया है. मालूम हो कि यह कार्रवाई सांसद अजय कुमार मंडल की अध्यक्षता में 23 दिसंबर 2024 को आयोजित जिला विकास समन्वय और निगरानी समिति की बैठक की अनुशंसा के आलोक में की गयी है. समीक्षा में पाया गया कि कई विद्यालयों में प्रबंध समिति का गठन नहीं हुआ है, जबकि कुछ ने समिति की स्वीकृति के बिना ही राशि खर्च की है, जो वित्तीय अनियमितता के दायरे में आता है. जिला शिक्षा कार्यालय के स्तर से स्पष्ट निर्देश दिया गया है कि संबंधित विद्यालयों के प्रधानाध्यापक सात दिनों के अंदर समिति गठन सुनिश्चित करें, अन्यथा उनके विरुद्ध आरोप पत्र गठित कर विभागीय कार्रवाई शुरू की जाएगी.
समिति गठन होने तक बंद रहेगा वेतन
विभाग ने यह भी स्पष्ट किया है कि जब तक समिति गठन नहीं होता, तब तक न तो कोई वित्तीय व्यय किया जाएगा और न ही वेतन भुगतान होगा. आदेश के साथ 54 विद्यालयों की सूची भी जारी की गयी है, जिनमें शहर और ग्रामीण दोनों क्षेत्र के प्रमुख विद्यालय शामिल हैं. विभिन्न प्रखंडों गोराडीह से छह, गोपालपुर से तीन, नगर निगम से तीन, नारायणपुर से दो, नाथनगर से चार, सन्हौला से दो, सुलतानगंज से दो, सबौर से दो, शाहकुंड से सात, रंगरा चौक से तीन, पीरपैंती से नौ, बिहपुर से चार, कहलगांव से पांच, इस्माइलपुर व खरीक के एक-एक एचएम पर कार्रवाई की गयी है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है