24.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

‘मुझे कभी गेंदबाज नहीं बनना चाहिए था’, गावस्कर के ‘Horses for Courses’ टिप्पणी के बाद अश्विन ने कही दिल की बात

रविचंद्रन अश्विन को वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप फाइनल में भारत के प्लेइंग इलेवन से बाहर रखा गया. कई पूर्व क्रिकेटर्स ने इसकी काफी आलोचना भी की थी. इस पर अब अश्विन ने भी खुलकर बयान दिया है. उन्होंने कहा कि अगर मैं एक अच्छा बल्लेबाज होता तो मुझे काफी मौके दिये जाते.

भारत के दिग्गज सुनील गावस्कर कप्तान रोहित शर्मा और मुख्य कोच राहुल द्रविड़ पर भड़क गये थे, जब नंबर वन रैंक के टेस्ट गेंदबाज रविचंद्रन अश्विन को पिछले हफ्ते द ओवल में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ विश्व टेस्ट चैंपियनशिप फाइनल के लिए प्लेइंग इलेवन से बाहर कर दिया गया था. यह निश्चित रूप से पहली बार नहीं था जब अश्विन ने संख्या के बावजूद विदेशी धरती पर मैदान के बाहर बैठना पड़ा. और यह भी पहली बार नहीं था जब गावस्कर ने गेंदबाज के प्रति अपना समर्थन दिखाया.

बल्लेबाजों को मिलते हैं ज्यादा मौके

साल 2021 में ऑस्ट्रेलिया में सीरीज के दौरान सुनील गावस्कर ने एक निश्चित “horses for courses” नियम समझाया था जो केवल गेंदबाजों पर लागू होता है. डब्ल्यूटीसी फाइनल में अश्विन को ड्रॉप किये जाने के बाद गावस्कर ने स्पोर्टस्टार के लिए अपने कॉलम में एक उदाहरण के रूप में यह समझाने का प्रयास किया कि यदि गेंदबाज अपने मानकों के अनुसार प्रदर्शन करने में विफल रहता है, तो उसे तुरंत अगले गेम से हटा दिया जाता है, जबकि बल्लेबाज के लिए यह लागू नहीं होता है.

Also Read: ‘मुझे कभी गेंदबाज नहीं बनना चाहिए था…’ WTC फाइनल में ड्रॉप किये जाने के बाद छलका आर अश्विन का दर्द
गेंदबाजों को मिलते हैं कम मौके

गावस्कर ने आगे कहा कि अगर अश्विन एक मैच में ढेर सारे विकेट नहीं लेते हैं, तो उन्हें हमेशा अगले मैच के लिए दरकिनार कर दिया जाता है. हालांकि स्थापित बल्लेबाजों के साथ ऐसा नहीं होता है. वह भारतीय क्रिकेट है. अलग-अलग लोगों के लिए अलग-अलग नियम है. अगर आपको मुझ पर विश्वास नहीं है तो रवि अश्विन और टी नटराजन से पूछिए. अश्विन से जब एक साक्षात्कार में पूछा गया कि क्या गावस्कर नियम के बारे में सही थे. जब उन्होंने कहा कि उन्हें एक बेहतर बल्लेबाज नहीं होने का पछतावा रहेगा.

सचिन तेंदुलकर का दिया उदाहरण

अश्विन ने सचिन का उदाहरण देते हुए एक सच्ची घटना का जिक्र किया जब भारत श्रीलंका के खिलाफ खेल रहा था. अश्विन ने कहा, मैं वह मैच देख रहा था. भारत की गेंदबाजी चरमरा रही थी. मेरे पसंदीदा सचिन तेंदुलकर थे, और वह जो भी रन बनाते थे, गेंद से वहीं रन लुटा रहे थे. जब मैं सोचता था कि एक दिन मुझे गेंदबाज बनना है. क्या मैं मौजूदा गेंदबाजों से बेहतर नहीं हो सकता? यह सोचकर ही मैंने गेंदबाजी शुरू की. हां, जब मैं संन्यास लूंगा तो मुझे इस बात का पछतावा रहेगा कि मैं इतना अच्छा बल्लेबाज था, मुझे कभी गेंदबाज नहीं बनना चाहिए था.

टेस्ट में अश्विन के नाम 400 से ज्यादा विकेट

टेस्ट क्रिकेट में 400 से अधिक विकेट लेने वाले अश्विन ने स्वीकार किया कि उन्हें पता था कि उन्हें भारतीय टीम में अपनी योग्यता साबित करने के कम अवसर मिलेंगे. उन्होंने कहा कि कुछ लोगों को 10 मैच मिलेंगे, कुछ लोगों को 15 मिलेंगे, कुछ लोगों को 20 मिलेंगे. जिस दिन मैंने भारतीय रंग पहना था, मुझे पता था कि मुझे केवल दो मिलेंगे. इसलिए मैं इसके लिए तैयार था. ऐसा नहीं है कि यह कुछ अनुचित व्यवहार है. मैंने खुद को इस स्थिति के लिए तैयार किया था.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें