ब्रिसबेन : भारतीय उपकप्तान रोहित शर्मा ने कहा कि आस्ट्रेलिया के गेंदबाजों को अपने लंबे कद का फायदा मिलेगा लेकिन उनकी टीम भी इस बार क्रिकेट की इस प्रतिद्वंद्विता की नयी परिभाषा गढ़ने को तैयार हैं. भारतीय टीम दौरे की शुरूआत 21 नवंबर को टी20 मैच से करेगी. रोहित ने कहा कि तेज पिचों पर खेलना उतना आसान नहीं होगा. उन्होंने कहा ,‘‘ भारत ने हमेशा पर्थ या ब्रिसबेन में खेला है.इन दोनों मैदानों पर हालात चुनौतीपूर्ण रहते हैं और आस्ट्रेलिया के लंबे गेंदबाज हालात का पूरा फायदा उठाते हैं .’
उन्होंने कहा ,‘‘ भारतीय बल्लेबाज आम तौर पर उतने लंबे नहीं होते लिहाजा हमारे लिये आसान नहीं है लेकिन हम पूरी तैयारी के साथ चुनौती का सामना करने आये हैं .’ रोहित ने कहा ,‘‘ हमारे बल्लेबाजों के लिए यह चुनौतीपूर्ण है लेकिन अधिकांश खिलाड़ी पहले आस्ट्रेलिया का दौरा कर चुके हैं और हालात से वाकिफ हैं. उनकी गेंदबाजी हर प्रारूप में हमारे लिये चुनौतीपूर्ण होगी लेकिन एक बल्लेबाजी ईकाई के रूप में हम भी तैयार हैं .’ तीन मैचों की टी20 सीरीज के बाद भारत को चार मैचों की टेस्ट और तीन मैचों की वनडे सीरीज खेलनी है.भारत ने अभी तक आस्ट्रेलिया में टेस्ट सीरीज नहीं जीता है.
तीन सीरीज ड्रा रही और आठ में उसे पराजय का सामना करना पड़ा.रोहित ने गाबा पर अभ्यास सत्र के बाद कहा ,‘‘ भारत के बाहर खेलने पर अलग अहसास होता है और आस्ट्रेलिया में हम सभी अच्छा प्रदर्शन करना चाहते हैं .पिछली बार हमने यहां कुछ करीबी मैच खेले थे.’ उन्होंने कहा ,‘‘ हम इस बार बेहतरीन प्रदर्शन करके जीतना चाहते हैं. आस्ट्रेलिया में अच्छे प्रदर्शन से मनोबल बढता है और विश्व कप से पहले जीतने से हमारा आत्मविश्वास काफी बढ़ेगा.’ उन्होंने यह भी कहा कि आस्ट्रेलिया जैसी मजबूत टीम के खिलाफ सभी खिलाड़ियों को अच्छा खेलना होगा. उन्होंने कहा ,‘‘ आस्ट्रेलिया को आस्ट्रेलिया में हराना काफी मुश्किल है.ऐसे में एक ईकाई के रूप में अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करना होगा.हमारे पास बेहतरीन गेंदबाज खासकर स्पिनर हैं जिनसे हम आस्ट्रेलियाई बल्लेबाजों को कड़ी चुनौती देंगे. ‘
रोहित ने आस्ट्रेलिया के खिलाफ आस्ट्रेलिया में खेले गए वनडे में 16 मैचों में 57 . 50 की औसत से 805 रन बनाये हैं.उन्होंने कहा कि आस्ट्रेलियाई पिचों की उछाल और रफ्तार से उन्हें मदद मिलती है.उन्होंने कहा ,‘‘ मैंने यहां वनडे क्रिकेट का पूरा मजा लिया है.ब्रिसबेन और पर्थ जैसे शहरों में अच्छी उछाल से मुझे अपना स्वाभाविक खेल खेलने का मौका मिलता है क्योंकि मैने स्वदेश में सीमेंट की पिचों पर खेला है .’