Youth Affairs: युवाओं का क्षमता विकास, नेतृत्व कौशल और ज्ञान साझा करने के उपायों को लेकर सरकार काम कर रही है. सरकार का मानना है कि देश को विकसित बनाने के काम सशक्त और सक्षम युवा ही कर सकते हैं. ऐसे में युवाओं को हर स्तर पर सशक्त बनाने के लिए कई तरह के कार्यक्रम चलाए जा रहे हैं.
इस कड़ी में केंद्रीय युवा कार्य और खेल मंत्रालय के तहत युवा मामले विभाग के माई भारत ने ज्ञान साझा करने, क्षमता निर्माण और युवा नेतृत्व विकास पर सहयोग करने के लिए स्कूल ऑफ अल्टीमेट लीडरशिप फाउंडेशन (एसओयूएल) के साथ एक समझौता ज्ञापन (एमओयू) पर हस्ताक्षर किया है. इस साझेदारी का मकसद शासन, लोक नीति, सामाजिक उद्यमिता, डिजिटल साक्षरता, वित्तीय साक्षरता और अन्य क्षेत्रों में संयुक्त कार्यक्रमों के जरिये पूरे देश में 18-29 वर्ष की आयु वर्ग के एक लाख युवा नेताओं को तैयार करने का लक्ष्य रखा गया है.
यह समझौता तीन वर्षों के लिए वैध है और परस्पर सहमति से इसे आगे भी बढ़ाया जा सकता है. समझौते के तहत नेतृत्व कार्यक्रमों की रूपरेखा और क्रियान्वयन, सम्मेलनों और कार्यशालाओं के आयोजन, संयुक्त अनुसंधान और युवा सेवा संगठनों के क्षमता निर्माण का प्रावधान है. प्रतिभागियों का चयन अखिल भारतीय स्तर पर, समावेशी दृष्टिकोण के साथ किया जाएगा, जिसमें ग्रामीण, शहरी, आकांक्षी, जनजातीय, महिला और वंचित समुदायों का प्रतिनिधित्व सुनिश्चित किया जाएगा.
युवाओं को सशक्त बनाना है मकसद
समझौते के तहत विभिन्न कार्य क्षेत्रों जैसे शासन, सार्वजनिक नीति, सामाजिक उद्यमिता, विदेश नीति, संचार, डिजिटल साक्षरता, वित्तीय साक्षरता में युवा नेतृत्व कार्यक्रमों का डिजाइन, विकास, नेतृत्व विकास के लिए युवा सम्मेलन, सेमिनार, वर्कशॉप और फेलोशिप का आयोजन, युवा सेवा संगठनों, शैक्षिक और प्रशिक्षण संस्थानों के लिए क्षमता निर्माण, युवा नेतृत्व में संयुक्त अनुसंधान और नीति पक्षधरता, युवा नेतृत्व और क्षमता निर्माण में सर्वोत्तम कार्यप्रणालियों का प्रसार, माई भारत और एसओयूएल के बीच प्रशिक्षकों, संसाधन और विशेषज्ञता का आदान-प्रदान, प्रशिक्षण सामग्री, पाठ्यक्रम और मूल्यांकन उपकरणों का विकास, पूरे देश के युवा नेताओं को जोड़ने के लिए नेटवर्किंग कार्यक्रम, योग्यता आधारित, समावेशी आधार पर प्रतिभागियों की पहचान के लिए ऑनलाइन प्रश्नोत्तरी और चयन प्रक्रिया का आयोजन होगा.
इस समझौते के तहत देश के युवाओं को नेतृत्व कौशल सिखाने के लिए एक ऑनलाइन कार्यक्रम भी शुरू होगी और यह कार्यक्रम सितंबर से शुरू होने की संभावना है.

