नयी दिल्ली : कर्नाटक के भाजपा नेताओं के एक समूह ने राज्य में कांग्रेस-जद (एस) सरकार के गिरने के बाद विकल्प पर चर्चा के लिए बृहस्पतिवार को पार्टी अध्यक्ष अमित शाह से मुलाकात की.
पूर्व मुख्यमंत्री बीएस येदियुरप्पा के नेतृत्व में प्रदेश भाजपा इकाई अगली सरकार बनाने के लिए दावा करना चाहती है, लेकिन अगले कदम के लिए केंद्रीय नेतृत्व की अनुमति का इंतजार कर रही है. जगदीश शेट्टार, अरविंद लिंबावली, मधुस्वामी, बसावराज बोम्मई और येदियुरप्पा के बेटे विजयेंद्र समेत कर्नाटक भाजपा के नेताओं ने शाह से मिलकर राज्य में घटनाक्रम तथा पार्टी के सामने मौजूद विकल्पों के बारे में चर्चा की. विधानसभाध्यक्ष रमेश कुमार ने कांग्रेस-जदएस गठबंधन के 15 बागी विधायकों के त्यागपत्र और उन्हें निष्कासित करने के लिए पार्टी की याचिकाओं पर अभी तक फैसला नहीं किया है. ऐसे में भाजपा सावधानी से कदम बढ़ा रही है क्योंकि अध्यक्ष के फैसले का अगली सरकार के भविष्य पर गंभीर असर हो सकता है.
राज्य को 31 जुलाई के पहले वित्त विधेयक भी पारित करना होगा. सूत्रों ने बताया कि महीने के अंत तक अगर सरकार इसे नहीं रख पायेगी तो विधेयक का मार्ग प्रशस्त करने के लिए राष्ट्रपति शासन लागू करना संवैधानिक बाध्यता होगी. इस वजह से भाजपा भी कानूनी विकल्पों पर परामर्श ले रही है.