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हिमाचल के साथ गुजरात में चुनाव की घोषणा नहीं करने की मुख्य चुनाव आयुक्त ने बतायी ये वजह

नयी दिल्ली/अहमदाबाद : गुजरात विधानसभा चुनावों की तारीखों का एलान हिमाचल प्रदेश विधानसभा चुनाव की तारीखों के साथ नहीं करने पर चुनाव आयोग आलोचनाओं का शिकार हो रहा है. कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी, पी चिंदबरमसमेतलगभग पूरा विपक्ष इस पर सवाल खड़ा कर चुका है. आलोचनाओं से घिरनेकेबाद मुख्य चुनाव आयुक्त एके जोती ने कहा कि […]

नयी दिल्ली/अहमदाबाद : गुजरात विधानसभा चुनावों की तारीखों का एलान हिमाचल प्रदेश विधानसभा चुनाव की तारीखों के साथ नहीं करने पर चुनाव आयोग आलोचनाओं का शिकार हो रहा है. कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी, पी चिंदबरमसमेतलगभग पूरा विपक्ष इस पर सवाल खड़ा कर चुका है. आलोचनाओं से घिरनेकेबाद मुख्य चुनाव आयुक्त एके जोती ने कहा कि बाढ़ के चलते राहत कार्यों में बाधा न पहुंचे, इसलिए गुजरात चुनाव की तारीखों एलान नहीं किया गया है. उन्होंने कहा कि करीब 200 लोगों की जान लेनेवाली बाढ़ से हुई क्षति की पूर्ती में गुजरात का अधिकतर प्रशासन लगा हुआ है. उन्होंने कहा कि चुनाव के लिए वही सरकारी अधिकारी काम में जुटेंगे जो इस समय बाढ़ग्रस्त इलाकों में कार्यरत हैं. अगर उन्हें चुनाव की तैयारियों में लगा दिया जायेगा, तो बाढ़ग्रस्त इलाकों में परेशानी बढ़ेगी. जब आचार संहिता लागू होगी, तो सभी सरकारी अधिकारी चुनाव की तैयारियों में जुट जायेंगे.

उन्होंने कहा कि दोनों राज्यों में चुनाव की तारीखों का फैसला कई परिस्थितियों को ध्यान में रखने के बाद किया गया है. उन्होंने कहा कि हिमााचल प्रदेश के चुनाव आयोग ने केंद्रीय आयोग से राज्य में जल्द चुनाव संपन्न कराने की मांग की थी. जोती ने कहा कि हिमाचल प्रदेश के प्रशासन ने भी कहा था राज्य में कई क्षेत्र ऐसे हैं जहां दिसंबर के दौरान ठंड बढ़ जाती है और बर्फबारी भी होती है. ऐसे में चुनाव कराने में प्रशासन को खासी परेशानी का सामना करना पड़ सकता है.

चुनाव आयोग का कहना है कि गुजरात चुनाव की तारीखों में देरी का कारण एक यह भी है कि हिमाचल में आनेवाले नतीजों का प्रभाव गुजरात में न पड़े. जोती ने कहा कि एक कारण यह भी है कि दोनों राज्य कई मायनों में अलग है और उन्हीं राज्यों के चुनाव साथ-साथ कराये जाते हैं, जो कहीं-न-कहीं एक-दूसरे से जुड़े हुए होते हैं. आयोग ने कहा कि इसका अक्सर ध्यान रखा जाता है कि एक राज्य का वोटिंग पैटर्न दूसरे राज्य के वोटिंग पैटर्न को प्रभावित न करे, इसलिए हिमाचल में वोटों की गिनती कासमय 18 दिसंबर को रखा गया है. चुनाव आयोग ने 12 अक्तूबर को घोषणा की थी कि हिमाचल प्रदेश में विधानसभा चुनावनौ नवंबर को होंगे, लेकिन गुजरात चुनाव कार्यक्रम की घोषणा नहीं की गयी थी.

आयोग ने आलोचनाओं के बीच कहा कि गुजरात में चुनाव 18 दिसंबर से पहले होंगे. वैसे रविवार को प्रधानमंत्री मोदी ने हिमाचल प्रदेश के साथ गुजरात विधानसभा के लिए चुनावी कार्यक्रम की घोषणा नहीं करने पर चुनाव आयोग पर सवालखड़ा करने पर कांग्रेस की आलोचना की और आयोग का बचाव किया. मोदी ने गुजरात में एक जनसभा को संबोधित करते हुए कहा कि संवैधानिक निकाय पर सवाल खड़ा करने का कांग्रेस के पास नैतिक अधिकार नहीं है.

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