भभुआ सदर. जिले को फाइलेरिया मुक्त बनाने को लेकर चैनपुर प्रखंड स्थित सुहावल व मेड पंचायत स्थित आयुष्मान आरोग्य मंदिर (हेल्थ एंड वैलनेस सेंटर) में रोगी हितधारक मंच का गठन किया गया है. सोमवार को मेढ़ पंचायत के मुखिया कालिका प्रसाद की अध्यक्षता व सीएचओ लोकेश कुमार की मौजूदगी में इस मंच का गठन किया गया. वहीं, सुहावल पंचायत के मुखिया दमन राम की अध्यक्षता व सीएचओ चंदन कुमार की देखरेख में रोगी हितधारक मंच का गठन किया गया. मालूम हो जिले को फाइलेरिया मुक्त बनाने के लिए जिला स्वास्थ्य समिति के साथ सहयोगी संस्थाएं लगातार कार्य कर रही है और विभिन्न कार्यक्रमों के माध्यम से व जनप्रतिनिधियों की मदद से जिले को फाइलेरिया मुक्त बनाने पर बल दिया जा रहा है. इसी के तहत जिले में विभिन्न स्तर से कार्य करके फाइलेरिया पीड़ित मरीजों की पहचान की जा रही है व इसी उद्देश्य से रोगी हितधारक मंच का भी गठन किया जा रहा है. इस मंच में सीएचओ के अलावा वार्ड सदस्य, बीडीसी, राशन कोटेदार, सेविका, जीविका, शिक्षक को सहित फाइलेरिया मरीज, आशा व आशा फेसिलिटेटर को शामिल किया जा रहा है, जो अपने स्तर से अपने-अपने पंचायत में फाइलेरिया को लेकर लोगों को जागरूक करेंगे और इस बीमारी से होने वाले नुकसान तथा इससे बचाव की लाेगों को जानकारी देंगे. = फाइलेरिया को लेकर लोगों में जागरूकता जरूरी मेड पंचायत के मुखिया कालिका प्रसाद ने बताया कि मंच के माध्यम से जानकारी मिली कि यह बीमारी मच्छर के द्वारा फैलता है, जो एक गंभीर बीमारी है. उन्होंने बताया कि इस बीमारी को लेकर लोगों में अभी भी कई मिथ हैं, जिसे दूर करना इस मंच का मुख्य कार्य होगा. उन्होंने कहा कि अपने पंचायत को फाइलेरिया मुक्त पंचायत बनाने में उनका भरपूर सहयोग रहेगा. सुहावल पंचायत के मुखिया दमन राम ने सभी सदस्यों से अपील की कि इस बीमारी को दूर करने के लिए हम सबको आगे आना होगा, क्योंकि जनप्रतिनिधियों का दायित्व बनता है कि हमें अपने पंचायत के लोगों के हित के बारे में सोचना चाहिए और यह रोगी हितधारक मंच इस बीमारी को जड़ से मिटाने में अहम भूमिका निभायेगी. = फाइलेरिया है एक लाइलाज बीमारी जिला वेक्टर जनित रोग नियंत्रण पदाधिकारी डॉ सत्य स्वरूप ने बताया कि फाइलेरिया उन्मूलन को लेकर जिले में लगातार अभियान चलाया जा रहा है, जिसमें फाइलेरिया मरीजों की पहचान कर उनका लाइन लिस्टिंग किया जा रहा है. उन्होंने बताया कि यह एक इलाज बीमारी है और यदि एक बार हो जाये तो ठीक नहीं होता है. यदि इस पर समय रहते ध्यान नहीं दिया जाये तो यह दिव्यंगता का भी कारण बन जाता है. डॉ सत्य स्वरूप ने बताया कि जिला स्वास्थ्य समिति के साथ-साथ सहयोगी संस्था सीफार के तकनीकी सहयोग से रोगी हितधारक धारक मंच का गठन किया जा रहा है और यह मंच लोगों को इस बीमारी के बारे में बतायेगी. साथ ही सर्वजन दवा सेवन अभियान के दौरान दवा खिलाने में सहयोग करेगा, जिससे अभियान को सफलता मिलेगी. इस दौरान वार्ड सदस्य रामानंद राम, शिक्षक मंजीत पटेल, सेविका सरिता देवी, सीफार प्रतिनिधि अशोक कुमार के अलावा अन्य लोग मौजूद थे.
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