Premanand Ji Maharaj: प्रेमानंद जी महाराज कहते हैं कि जीवन में सच्ची सफलता और मानसिक शांति पाने का रास्ता अपने मन के विरुद्ध जाने से ही होकर गुजरता है. अक्सर हम अपनी इच्छाओं और आदतों के अनुसार चलते हैं, लेकिन यही हमें असफलता और अस्थिरता की ओर ले जाता है. महाराज जी की गहरी सीख बताती है कि जब हम अपने मन पर काबू पाते हैं और सही दिशा में कदम बढ़ाते हैं, तभी जीवन में वास्तविक सुख और सफलता मिलता है. इस आर्टिकल में जानिए क्यों मन के विरुद्ध जाना हर इंसान के लिए जरूरी है और कैसे यह आपकी सोच और जीवन बदल सकता है.
प्रेमानंद जी कहते हैं की अगर मन के विरुद्ध नहीं चलोगे तो यह तुम्हें गंदे काम करने के लिए प्रेरित करेगा. यह नकारात्मक सोच पैदा करेगा और धीरे-धीरे यह तुम्हें खुद के प्रति गलत दृष्टिकोण अपनाने पर मजबूर करेगा. यह इतना डिप्रेशन और भय पैदा कर सकता है कि इंसान अपने जीवन को खतरे में डालने की सोचने लगे. इसीलिए कई लोग अपने आप शूट कर लेते हैं, अपने आप जहर खा लेते हैं या अपने आप फांसी लगा लेते हैं. यही मन है, जिसे समय रहते नियंत्रित नहीं किया गया और यह गलत आचरणों की ओर बढ़ता रहा.
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प्रेमानंद जी महाराज की सीख स्पष्ट है कि मन पर काबू पाना ही असली सफलता और मानसिक शांति की कुंजी है. जब इंसान अपनी इच्छाओं, वासनाओं और आदतों के विरुद्ध कदम उठाना सीखता है, तभी वह सही दिशा में आगे बढ़ सकता है. मन को नियंत्रित करने से जीवन में स्थिरता, आत्मिक संतोष और समझदारी से निर्णय लेने की क्षमता आती है.
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