अपनी जादुई से करोड़ों दिलों में बसने वाले जानेमाने गजल गायक जगजीत सिंह का आज जन्मदिन है. उनका जन्म 8 जनवरी 1941 को राजस्थान के श्रीगंगानगर में हुआ था. ‘होश वालों को खबर क्या’, ‘झुकी झुकी सी नजर’ और ‘होठों से छू लो तुम’ जैसे अनगिनत खूबसूरत गजल गानेवाले जगजीत सिंह ने 10 अक्तूबर 2011 को इस दुनियां को अलविदा कह दिया था. जगजीत सिंह की गायकी शुरुआत से ही गायकी की ओर थी. कॉलेज के दिनों में वे सुबह 5 बजे से ही रियाज करते थे. जानें उनके बारे में 10 दिलचस्प बातें…
1. जगजीत सिंह के बचपन का नाम जगमोहन था लेकिन पिता के कहने पर उन्होंने अपना नाम जगजीत सिंह रख लिया. उन्होंने सरकारी स्कूल और खालसा कॉलेज से पढ़ाई की थी.
2. उनके पिता चाहते थे कि वे भारतीय प्रशासनिक सेवा में जाये लेकिन जगजीत सिंह बचपन से ही संगीत की ओर रुचि रखा करते थे. उन्होंने संगीत की शिक्षा उस्ताद जमाल खान और पंडित छगनलाल शर्मा से हासिल की थी.
3. वर्ष 1965 में वे गायक बनने का अरमान लिये मुबंई आ गये. वर्ष 1967 में उनकी मुलाकात गजल गायिका चित्रा से हुई. इसके दो साल बाद 1969 में वे चित्रा के साथ विवाह बंधन में बंध गये.
4. उनकी पहली एलबम ‘द अनफॉरगेटेबल्स’ (1976) बेहद हिट रही थी. उनकी गजलों को आम लोगों ने बेहद पसंद किया. प्राइवेट फिल्मों के साथ-साथ जगजीत सिंह ने कई फिल्मों में भी अपनी आवाज दी.
5. जगजीत सिंह और चित्रा ने साथ-साथ कई गजलें गाईं. दोनों ने संगीत कार्यक्रमों में अपनी जुगलबंदी का समां बांधा.
6. वर्ष 1990 में जगजीत सिंह के 18 वर्षीय बेटे विवेक की अचानक कार दुर्घटना में मौत हो गई. जिससे दोनों को गहरा सदमा पहुंचा. चित्रा तो इस घटना से इतना टूट गई थीं कि उन्होंने गायकी से दूरी बना ली.
7. ‘तुम इतना जो मुस्कुरा रहे हो’, ‘झुकी झुकी सी नजर’, ‘होठों से छू लो तुम’, ‘चिठ्ठी न कोई संदेश’, ‘ये दौलत भी ले लो’, ‘कोई फरियाद’ जैसी कई गजलें आज भी लोगों के बीच उन्हें जिंदा रखे हैं. उन्होंने 150 से ज्यादा एलबम भी बनाईं थी.
8. भारत सरकार की तरफ से इस महान गजल गायक जगजीत सिंह को साल 2003 में ‘पद्म भूषण’ सम्मान से नवाजा गया था.
9. उन्हें ब्रेन हैमरेज होने के कारण 23 सितम्बर को मुंबई के लीलावती अस्पताल में भर्ती करवाया गया था. ब्रेन हैमरेज होने के बाद जगजीत सिंह की सर्जरी की गई, जिसके बाद से ही उनकी हालत गंभीर बनी हुई थी. 10 अक्तूबर 2011 को उुबह 8 बजे वो इस इस दुनियां को अलविदा कह गये.
10. आज भले ही जगजीत सिंह हमारे बीच नहीं हैं, लेकिन उनकी आवाज और उनकी गायकी की भीनी-भीनी खुशबू हमेशा हमारे दिलों में बसी रहेगी.