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Hindi Diwas 2025: हिंदी भाषा एक, करियर राहें अनेक

हिंदी, दुनिया की तीसरी सबसे अधिक बोली जानेवाली भाषा है और 60 करोड़ से अधिक लोग यह भाषा बोलते हैं. हिंदी कैसे वैश्विक स्तर पर लोकप्रिय हो रही है इसकी तस्दीक रूसी संघ के उच्च शिक्षा उप मंत्री कोंस्टैंटिन मोगिलेवस्की का हाल में आया एक साक्षात्कार करता है. समाचार एजेंसी टीएएसएस को दिये गये एक साक्षात्कार में उन्होंने कहा -'हिंदी सीखने के इच्छुक युवाओं के लिए अब पहले से अधिक अवसर उपलब्ध हैं और रूस ने अपने विश्वविद्यालयों में हिंदी भाषा के प्रोग्राम्स का व्यापक विस्तार किया है.' इन दिनों देश भर में हिंदी दिवस (14 सितंबर) मनाये जाने की तैयारी है, इस मौके पर हिंदी भाषा के साथ बनने वाली करियर राहों पर बात करना छात्रों के लिए उपयोगी हो सकता है...

Hindi Diwas 2025: सितंबर का महीना हिंदी भाषा के लिए खास होता है. इस महीने की 14 तारीख को हिंदी दिवस मनाया जाता है. वैश्वीकरण के बाद से हिंदी में लगातार नयी संभावनाएं जन्मी हैं. हिंदी बोलने वालों की तादत बढ़ने के साथ-साथ हिंदी भाषा में करियर बनाने के मौके भी बढ़े हैं. हिंदी भाषा में बड़े पैमाने पर टीवी सीरियल और वेब सीरीज बनती हैं और उनके लिए हिंदी में कहानी और संवाद लिखने वालों के लिए काम करने के नये मौके बने हैं. डिजिटल मीडिया और कंटेंट क्रिएशन ने भी अच्छी हिंदी बोलने-लिखने वालों को एक बेहतरीन प्लेटफॉर्म दिया है.

हिंदी के साथ हासिल करें सरकारी नौकरी

हिंदी भारत की राजभाषा है और सभी सरकारी विभागों के काम अंग्रेजी के साथ हिंदी में भी होना अनिवार्य है. इसके लिए सरकारी संस्थानों एवं मंत्रालयों में राजभाषा अधिकारी की नियुक्ति की जाती है. सरकारी बैंकों, बीमा कंपनियों में भी राजभाषा अधिकारी के पद होते हैं. हिंदी में पोस्ट ग्रेजुएशन, साथ में ग्रेजुएशन स्तर पर एक विषय के तौर पर अंग्रेजी की पढ़ाई या संस्कृत के साथ पोस्ट ग्रेजुएशन और ग्रेजुएशन स्तर पर हिंदी और अंग्रेजी की पढ़ाई करनेवाले अभ्यर्थी राजभाषा अधिकारी बनने की तैयारी कर सकते हैं.बहुत से सरकारी विभागों या संस्थानों में हिंदी अनुवादक की नियुक्ति की जाती है. इस पद पर चयन के बाद धीरे-धीरे अनुभव और आयु के अनुसार पदोन्नति के मौके भी मिलते हैं. अनुवादक को सहायक निदेशक, उपनिदेशक और निदेशक के रूप में पदोन्नति का मौका मिलता है. हिंदी साहित्य से स्नातक करने के बाद यूपीएससी और पीएससी आदि प्रतियोगी परीक्षाएं दे सकते हैं. हिंदी साहित्य से बीए के बाद बीएड कर स्कूल शिक्षक बन सकते हैं या आगे एमए एवं पीएचडी कर कॉलेज या यूनिवर्सिटी में अध्यापन करने का भी विकल्प है.

कॉपी राइटर बनने का है विकल्प

विज्ञापन इंडस्ट्री, फिल्म एवं टेलीविजन इंडस्ट्री से लेकर रेडियो एवं पत्रिकाओं तक में हिंदी भाषा के कॉपीराइटर के लिए मौके मौजूद हैं. कल्पनाशीलता एवं लेखन कौशल के संयोजन से आप एक बेहतरीन कॉपी राइटर बन सकते हैं. कॉपी राइटर की मुख्य काम किसी विचार को शब्दों में बुनना होता है. कॉपी विज्ञापन, रेडियो, फिल्म व टीवी के लिए स्क्रिप्ट, जिंगल, स्लोगन, पंचलाइन आदि लिखते हैं.

फिल्म लेखक बन बना सकते हैं पहचान

हिंदी में गीत, कहानी और संवाद लिखने की काबिलियत गीतकार, पटकथा व संवाद लेखक के तौर पर पहचान बनाने का मौका दिलाती है. हिंदी लेखकों में अमृतलाल नागर, मनोहर श्याम जोशी, कमलेश्वर समेत कई प्रतिष्ठित नाम हैं, जो साहित्य लेखन एवं पत्रकारिता के साथ फिल्म एवं टेलीविजन लेखन में बराबर दखल रखते थे. हिंदी में पटकथा, संवाद एवं गीत लिखने की प्रतिभा रखनेवालों के लिए हिंदी फिल्म एवं टेलीविजन इंडस्ट्री में पहचान बनाने की अच्छी संभावनाएं मौजूद हैं. ओटीटी प्लेफॉर्म आने के बाद से हिंदी लिखनेवालों के लिए काम करने के मौके और बढ़ें हैं.

अनुवादक के तौर पर कर सकते हैं काम

कई सरकारी एवं गैर सरकारी एजेंसियां, प्रकाशन विभाग, नेशनल बुक ट्रस्ट, चिल्ड्रन बुक ट्रस्ट आदि में बड़े पैमाने पर अंग्रेजी से हिंदी और हिंदी से अंग्रेजी में अनुवाद का काम होता है. इनके अलावा कई प्रकाशक जैसे, पेंग्विन, यात्रा बुक्स, सेज पब्लिकेशन, वाणी, राजकमल प्रकाशन आदि अंग्रेजी और दूसरी भाषाओं से हिंदी में अनुवाद कराते हैं. हिंदी प्रकाशन हाउस अच्छी रचनाओं का चयन करने, उनका प्रूफ पढ़ने और फाइनल ड्राफ्ट तैयार करने के लिए हिंदी भाषा के जानकारों को अच्छे वेतन के साथ नौकरी पर रखते हैं.

लेखक बनने की भी है एक रास्ता

हिंदी लेखन की एक बड़ी दुनिया है. लेखन अनुभव और एहसास को शब्दों में बयां करने की कला है. लेखक बनने के लिए किसी कोर्स या डिग्री जरूरत नहीं होती. दूसरों की भावनाओं को महसूस करने, उसे अभिव्यक्त करने के लिए भाषा का अच्छा ज्ञान, लिखने की उम्दा कला आपको लेखक बना सकती है. लेखक बनने के लिए धैर्य और एकाग्रता भी जरूरी है. शुरुआत आप अपने अनुभवों को कविता, लघु कथा या कहानी के रूप में लिखने के साथ कर सकते हैं और उन्हें समाचार पत्रों, साहित्यिक पत्रिकाओं को भेज सकते हैं. इंटरनेट के विस्तार ने लोगों को अपनी पहचान बनाने का एक अच्छा प्लेटफॉर्म दिया है. आप अपना एक ब्लॉग बना कर, जो भी लिखें, उस पर पब्लिश कर सकते हैं. अपनी रचनाओं के प्रकाशन के लिए हिंदी की साहित्यिक पत्रिकाओं एवं प्रकाशन हाउस से संपर्क कर सकते हैं.

जर्नलिज्म में है जगह बनाने का मौका

हिंदी जर्नलिज्म में आगे बढ़ने के अच्छे मौके हैं. प्रिंट मीडिया , न्यूज चैनल, रेडियो और वेब जर्नलिज्म तक एक बड़ा कार्यक्षेत्र है, जो हिंदी भाषा में काम करता है. हिंदी जर्नलिज्म में करियर बनाने के लिए हिंदी लिखने और बोलने के कौशल के साथ अंग्रेजी से हिंदी अनुवाद की दक्षता और खबरों की समझ जरूरी है. बीए के बाद पीजी डिप्लोमा इन मास कम्युनिकेशन, पीजी डिप्लोमा इन ब्रॉडकास्ट जर्नलिज्म, एमए इन जर्नलिज्म, डिप्लोमा इन जर्नलिज्म, पीजी डिप्लोमा इन मास मीडिया में कोई एक कोर्स कर हिंदी जर्नलिज्म के क्षेत्र में करियर बना सकते हैं.

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Preeti Singh Parihar
Preeti Singh Parihar
Senior Copywriter, 15 years experience in journalism. Have a good experience in Hindi Literature, Education, Travel & Lifestyle...

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