22.1 C
Ranchi

लेटेस्ट वीडियो

दुनियाभर में बजेगा भारत का डंका, आरबीआई गवर्नर ने कहा- जल्द बनेगा तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था

India Economy: भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर संजय मल्होत्रा ने कहा है कि भारत जल्द ही दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने जा रहा है. चालू वित्त वर्ष 2025-26 की पहली तिमाही में देश की जीडीपी वृद्धि दर 7.80% रही है, जो पिछले पांच तिमाहियों में सबसे अधिक है. प्रधानमंत्री जन-धन योजना, वित्तीय समावेशन, डिजिटल बैंकिंग और यूपीआई जैसे कदमों ने देश की आर्थिक प्रगति को नई ऊंचाई दी है. महिलाओं की बढ़ती भागीदारी और बैंकिंग सेवाओं का विस्तार भारत को और मजबूत बना रहा है.

India Economy: भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के गवर्नर संजय मल्होत्रा ने कहा कि भारत जल्द ही दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने जा रहा है. उन्होंने यह बयान ऐसे समय में दिया, जब चालू वित्त वर्ष 2025-26 की पहली तिमाही (अप्रैल-जून) में भारत की जीडीपी वृद्धि दर 7.80% दर्ज की गई है, जो पिछले पांच तिमाहियों में सबसे अधिक है. अमेरिका के भारी टैरिफ लगाने से पहले भी भारत की विकास दर इतनी ऊंची नहीं रही थी.

प्रधानमंत्री जन-धन योजना का योगदान

संजय मल्होत्रा ने इंदौर के रंगवासा गांव में आयोजित वित्तीय समावेशन अभियान ‘संतृप्ति शिविर’ में कहा कि देश की आर्थिक प्रगति में प्रधानमंत्री जन-धन योजना (पीएमजेडीवाई) ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है. इस योजना की शुरुआत 11 साल पहले केंद्र सरकार और आरबीआई ने बैंकों के साथ मिलकर की थी. आज इसके तहत 55 करोड़ बैंक खाते खोले जा चुके हैं, जिनसे बचत, पेंशन, बीमा, लोन और अन्य वित्तीय सेवाएं आम जनता तक पहुंचाई जा रही हैं.

वैश्विक परिदृश्य में भारत की स्थिति

आरबीआई गवर्नर ने कहा कि आज भारत दुनिया की सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाओं में पांचवें स्थान पर है और जल्द ही तीसरे स्थान पर पहुंचने की तैयारी में है. उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि विकास की इस यात्रा में समाज के हर वर्ग और क्षेत्र को शामिल किया जा रहा है. यह व्यापक वित्तीय समावेशन ही भारत की मजबूती और वैश्विक रैंकिंग को आगे बढ़ाने का आधार बनेगा.

खाताधारकों के लिए जरूरी निर्देश

संजय मल्होत्रा ने जन-धन खाताधारकों को सलाह दी कि वे समय-समय पर केवाईसी (नो योर कस्टमर) प्रक्रिया को अद्यतन कराएं. इससे खातों के दुरुपयोग की आशंकाएं खत्म होंगी और वित्तीय प्रणाली और भी मजबूत बनेगी. उन्होंने लोगों से डिजिटल साक्षरता बढ़ाने और बैंकिंग धोखाधड़ी से बचने के लिए सतर्क रहने की अपील की.

डिजिटल बैंकिंग और यूपीआई का महत्व

आरबीआई गवर्नर ने कहा कि जनता को डिजिटल बैंकिंग और यूपीआई का अधिक से अधिक इस्तेमाल करना चाहिए. इससे न केवल लेन-देन आसान होगा, बल्कि नकदी पर निर्भरता कम होने से अर्थव्यवस्था पारदर्शी और सुरक्षित बनेगी.

महिलाओं की बढ़ती भागीदारी

वित्तीय समावेशन अभियान में महिलाओं की सक्रिय भागीदारी को गवर्नर ने विशेष रूप से सराहा. उन्होंने कहा कि देश की आधी आबादी विकास यात्रा में अहम भूमिका निभा रही है और महिला सशक्तिकरण से अर्थव्यवस्था की नींव और मजबूत होगी.

बैंकिंग सेवाओं का विस्तार

गवर्नर ने जानकारी दी कि आज लगभग हर गांव से पांच किलोमीटर के दायरे में बैंक शाखा या बिजनेस कॉरेस्पोंडेंट (बीसी) उपलब्ध हैं. इससे ग्रामीण और दूरदराज क्षेत्रों में भी वित्तीय सेवाओं की पहुंच सुनिश्चित हो रही है.

इसे भी पढ़ें: Explainer: व्यापार को हथियार बनाने में अमेरिका-चीन दोनों माहिर, तो फिर क्या करे भारत?

राष्ट्रव्यापी वित्तीय समावेशन अभियान

केंद्र सरकार और आरबीआई ने एक जुलाई से राष्ट्रव्यापी वित्तीय समावेशन अभियान शुरू किया है, जो 30 सितंबर तक चलेगा. इस दौरान नए जन-धन खाते खोलना, सामाजिक सुरक्षा योजनाओं में नामांकन और केवाईसी प्रक्रिया पूरी करने जैसी गतिविधियां की जा रही हैं. भारत की मजबूत आर्थिक वृद्धि, व्यापक वित्तीय समावेशन और डिजिटल क्रांति यह साबित कर रहे हैं कि आने वाले वर्षों में भारत न केवल तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनेगा, बल्कि वैश्विक विकास का भी नेतृत्व करेगा.

इसे भी पढ़ें: जापान पहुंचकर कितने का हो जाता है भारत का रुपया? जानकर चौंक जाएंगे आप

Disclaimer: शेयर बाजार से संबंधित किसी भी खरीद-बिक्री के लिए प्रभात खबर कोई सुझाव नहीं देता. हम बाजार से जुड़े विश्लेषण मार्केट एक्सपर्ट्स और ब्रोकिंग कंपनियों के हवाले से प्रकाशित करते हैं. लेकिन प्रमाणित विशेषज्ञों से परामर्श के बाद ही बाजार से जुड़े निर्णय करें.

KumarVishwat Sen
KumarVishwat Sen
कुमार विश्वत सेन प्रभात खबर डिजिटल में डेप्यूटी चीफ कंटेंट राइटर हैं. इनके पास हिंदी पत्रकारिता का 25 साल से अधिक का अनुभव है. इन्होंने 21वीं सदी की शुरुआत से ही हिंदी पत्रकारिता में कदम रखा. दिल्ली विश्वविद्यालय से हिंदी पत्रकारिता का कोर्स करने के बाद दिल्ली के दैनिक हिंदुस्तान से रिपोर्टिंग की शुरुआत की. इसके बाद वे दिल्ली में लगातार 12 सालों तक रिपोर्टिंग की. इस दौरान उन्होंने दिल्ली से प्रकाशित दैनिक हिंदुस्तान दैनिक जागरण, देशबंधु जैसे प्रतिष्ठित अखबारों के साथ कई साप्ताहिक अखबारों के लिए भी रिपोर्टिंग की. 2013 में वे प्रभात खबर आए. तब से वे प्रिंट मीडिया के साथ फिलहाल पिछले 10 सालों से प्रभात खबर डिजिटल में अपनी सेवाएं दे रहे हैं. इन्होंने अपने करियर के शुरुआती दिनों में ही राजस्थान में होने वाली हिंदी पत्रकारिता के 300 साल के इतिहास पर एक पुस्तक 'नित नए आयाम की खोज: राजस्थानी पत्रकारिता' की रचना की. इनकी कई कहानियां देश के विभिन्न पत्र-पत्रिकाओं में प्रकाशित हुई हैं.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

संबंधित ख़बरें

Trending News

जरूर पढ़ें

वायरल खबरें

ऐप पर पढें
होम आप का शहर
News Snap News Reel