बीजिंग : चीन के एक सरकारी अखबार ने आज कहा कि भारत,रूस एवं क्षेत्र के अन्य देशों के साथ घनिष्ठ रिश्ता कायम कर चीन को घेरने की अमेरिका और जापान की भूराजनीतिक चाल से उसे चिंतित नहीं होना चाहिए और बीजिंग को एक आर्थिक और सैन्य शक्ति बनने पर ध्यान केंद्रित करना चाहिए.
हाल में भारत और अमेरिका के बीच हुए साजो सामान आदान-प्रदान सहमति समझौते का हवाला देते हुए ग्लोबल टाइम्स ने ‘जियोपॉलिटिकल गेम शुड नॉट डाइवर्ट चाइना’ शीर्षक से एक संपादकीय में कहा है कि कुछ अमेरिकी मीडिया संगठन समझौते को गलत तरीके से भारत के अमेरिका के निकट जाने के संकेत के तौर पर दिखा रहे हैं.
संपादकीय में कहा गया है कि जापान के प्रधानमंत्री शिंजो अबे लंबे समय से चले आ रहे कुरील द्वीप श्रृंखला से जुड़े क्षेत्र संबंधी विवाद को लेकर कोई खास प्रगति नहीं होने के बावजूदरूस के साथ आर्थिक सहयोग को प्राथमिकता देेने की योजना बना रहे हैं.
इसमें कहा गया है, ‘‘इसेरूस को लेकर जापान की नीति में आये महत्वपूर्ण बदलाव केरूप में देखा जा सकता है. खबरों के मुताबिक अबेरूस के सुदूर पूर्वी शहर व्लादिवोस्तोक में आयोजित होने वाले पूर्वी आर्थिक फोरम में हिस्सा लेने जायेंगे, जहां वहरूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से भी मिलेंगे.’