संवाददाता, कोलकाता.
आम तौर पर ट्रेनों में तैनात टीटी के बारे में ज्यादातर यात्रियों की धारणा अच्छी नहीं होती. लेकिन सियालदह स्टेशन पर तैनात मुख्य टिकट निरीक्षक (सीआइटी) असित कुमार पॉल द्वारा ड्यूटी के दौरान पेश की गयी ईमानदारी अन्य टीटी कर्मियों के लिए अनुकरणीय हो सकती है. ड्यूटी के दौरान करीब एक लाख रुपयों से भरा बैग भी उनकी ईमानदारी और निष्ठा को तनिक भी विचलित नहीं कर सका और उन्होंने ट्रेन में बरामद बैग को आरपीएफ कर्मियों के सौंप दिया, ताकि बैग संबंधित व्यक्ति तक पहुंचाया जा सके.
मिली जानकारी के दौरान पिछले शुक्रवार को मुख्य टिकट निरीक्षक असित कुमार पॉल की 12358 दुर्गियाना एक्सप्रेस में ड्यूटी थी. ड्यूटी के दौरान जब वह ट्रेन का निरीक्षण कर रहे थे तभी उन्हें एक लावारिश बैग मिला. बैग नोटों के बंडल से भरा था, बैग में कुछ अन्य सामान भी थे. बैग में इतनी भारी संख्या में पैसे मिलने के बाद सीआइटी सियालदह असित कुमार पॉल ने तुरंत इसकी जानकारी कोलकाता स्टेशन के आरपीएफ थाने को दी. आरपीएफ अधिकारी घटना स्थल पर पहुंचे और जब बैग में बरामद नोटों की गिनती की गयी तो वह 1,03,820 रुपये निकले.
सीआइटी ने बताया कि जब वह नियमित जांच और निरीक्षण कर रहे थे तभी दुर्गियाना एक्सप्रेस के एक बोगी में बैग रखा हुआ था. ऐसा लग रहा था कि ट्रेन के कोलकाता स्टेशन पर पहुंचने के बाद कोई यात्री जल्दबाजी में अपना बैग ट्रेन की बर्थ पर छोड़ कर चला गया होगा. कोलकाता रेलवे स्टेशन के आरपीएफ पोस्ट ने बैग को अपने हिफाजत में लेकर उसके असली मालिक का पता लगाने में जुट गयी है.
घटना की जानकारी होते ही सियालदह मंडल के वरिष्ठ मंडल वाणिज्यिक प्रबंधक जसराम मीना ने सीआइटी असित कुमार पॉल की ईमानदारी की प्रशंसा की. उन्होंने कहा, हमारे कर्मचारियों की निष्ठा और ईमानदारी हमारे संगठन की नींव है. श्री पॉल का यह कदम हमारे संगठन के मूल्यों को दर्शाता है और हम सभी के लिए गर्व का विषय है.
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