कोलकाता. पश्चिम बंगाल में विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआइआर) लागू करने की तैयारी पूरी कर ली गयी है. राज्य के मुख्य चुनाव अधिकारी (सीइओ) ने गुरुवार को इस संबंध में राष्ट्रीय निर्वाचन आयोग को रिपोर्ट सौंप दी. चुनाव आयोग ने हाल ही में सभी राज्यों से एसआइआर लागू करने की तैयारियों की जानकारी मांगी थी. इसी क्रम में पश्चिम बंगाल के सीइओ ने बताया कि सभी जिला अधिकारियों, बीएलओ, बीएलओ सुपरवाइजर और बूथ लेवल एजेंटों (बीएलए) को प्रशिक्षित किया जा चुका है. नये दिशा-निर्देशों के अनुसार, अब किसी भी बूथ पर 1200 से अधिक मतदाता नहीं होंगे. इस कारण राज्य में बूथों की संख्या बढ़कर लगभग 94,000 हो गयी है, जो पहले 80,650 थी. इस बदलाव की जानकारी सभी राजनीतिक दलों को दे दी गयी है. गौरतलब है कि पश्चिम बंगाल में आखिरी बार एसआइआर वर्ष 2002-03 में हुआ था. बिहार में यह प्रक्रिया हाल ही में पूरी हुई है. अब अन्य राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में भी यह अभियान शुरू किया जा रहा है. चुनाव आयोग ने सभी सीईओ को निर्देश दिया है कि बीएलओ, उनके सुपरवाइजर और बीएलए संयुक्त रूप से मतदाता सूची में दर्ज प्रत्येक व्यक्ति के घर जाकर सर्वेक्षण करें. प्रत्येक नागरिक को एक फॉर्म भरना होगा, जिसके आधार पर उनकी जानकारी का सत्यापन किया जायेगा. हालांकि, जिनका नाम एक जनवरी 2002 को प्रकाशित पिछली एसआइआर सूची में दर्ज है, उन्हें अतिरिक्त दस्तावेज देने की आवश्यकता नहीं होगी. जिनके माता-पिता का नाम उस सूची में है, उनके मामलों में भी प्रक्रिया सरल होगी. लेकिन नये मतदाताओं और अन्य राज्यों से आये नागरिकों को नये दस्तावेज और फॉर्म जमा करने होंगे. यह प्रक्रिया ऑनलाइन भी की जा सकेगी. राजनीतिक दलों के बूथ स्तर के प्रतिनिधि भी इस पूरी प्रक्रिया में शामिल होंगे. 2002 की मतदाता सूची प्रकाशित: चुनाव आयोग ने गुरुवार को राज्य के 24 जिलों की 2002 की मतदाता सूची सार्वजनिक कर दी. कुल 294 विधानसभा क्षेत्रों में से कुलपी को छोड़कर बाकी 293 सीटों की सूची वेबसाइट पर उपलब्ध करा दी गयी है. आयोग के मुताबिक, कुलपी की मतदाता सूची अब भी उपलब्ध नहीं है.
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