केंद्रीय ग्रामीण विकास राज्य मंत्री बोले : बंगाल में मनरेगा की राशि का हुआ दुरुपयोग
एजेंसियां, कोलकाता/नयी दिल्लीकेंद्रीय ग्रामीण विकास राज्य मंत्री चंद्रशेखर पेम्मासानी ने प्रश्नकाल में पूरक प्रश्नों का उत्तर देते हुए कहा कि केंद्र सरकार ने महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम (मनरेगा) के तहत धनराशि जारी करने में कभी किसी राज्य के साथ भेदभाव नहीं किया है. पेम्मासानी ने कहा कि मनरेगा के तहत पश्चिम बंगाल को दिये गये धन के कथित दुरुपयोग के कई मामले सामने आये हैं. पश्चिम बंगाल में योजना के क्रियान्वयन के बारे में पूछे गये एक पूरक प्रश्न के उत्तर में उन्होंने कहा कि राज्य में ‘कई चीजें गलत हुईं. उन्होंने कहा कि सबसे पहले, धन का ‘दुरुपयोग’ हुआ. ग्रामीण विकास मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने भी सरकार का बचाव करते हुए कहा : चाहे तमिलनाडु हो या पश्चिम बंगाल, मोदी सरकार ने कभी किसी राज्य के साथ भेदभाव नहीं किया है. सामग्री लागत सहित लंबित मनरेगा बकाया जल्द ही जारी कर दिया जायेगा. उन्होंने कहा : संप्रग के तहत, 2006-07 से 2013-14 तक, पश्चिम बंगाल में 111 करोड़ मानव दिवस सृजित किये गये थे और 14,985 करोड़ रुपये की राशि दी गयी थी, जबकि हमने (राजग सरकार में) 239 करोड़ मानव दिवस सृजित किये हैं और पश्चिम बंगाल को 54,515 करोड़ रुपये आवंटित किये हैं. मंत्री के जवाब पर असंतोष जताते हुए द्रमुक और तृणमूल कांग्रेस के सांसद आसन के समीप आकर नारेबाजी करने लगे.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

