कोलकाता. दक्षिण 24 परगना जिले के एक स्कूल में सलवार-कमीज पहनकर स्कूल आने पर एक शिक्षिका के उत्पीड़न का आरोप लगा था. उन्हें पीटा भी गया था. यहां तक कि उनके बाल भी नोच लिए गये थे. इस मामले की सुनवाई हाइकोर्ट में चल रही है. ऐसे में उच्च न्यायालय ने पांच साल पुराने मामले को शीघ्र निपटाने का आदेश दिया. साथ ही जस्टिस राय चटर्जी ने दक्षिण 24 परगना स्कूल इंस्पेक्टर को सभी पहलुओं की जांच करने और शिक्षक की पुनर्नियुक्ति की व्यवस्था करने का आदेश दिया. अदालत सूत्रों के अनुसार, दिसंबर 2010 में अंग्रेजी शिक्षिका को स्कूल में सलवार कमीज पहनकर आने पर परेशान किया गया था. यह घटना दक्षिण 24 परगना के महेशपुर स्थित प्रफुल्ला गर्ल्स स्कूल की है. शिक्षिका ने आरोप लगाया कि स्कूल की प्रधानाध्यापिका और प्रबंध समिति के सदस्यों ने फतवा जारी कर कहा है कि अगर स्कूल आना है, तो साड़ी पहननी होगी. शिक्षिका ने कहा कि यह उसके लिए संभव नहीं है. चूंकि उसे प्रतिदिन बस और ट्रेन से बांसद्रोणी से बसंती तक की यात्रा करनी पड़ती है. इसलिए उसके लिए प्रतिदिन साड़ी पहनकर स्कूल आना संभव नहीं है. आरोप है कि बहस के दौरान कुछ अभिभावकों की मौजूदगी में कई शिक्षकों ने उसे अत्यधिक परेशान किया. यह भी आरोप है कि शिक्षिका की पिटाई की गयी तथा उसके बाल काट दिये गये. इस घटना के परिणामस्वरूप शिक्षिका बीमार पड़ गयी थी. बाद में पुलिस ने उसे स्कूल से छुड़ाया. कथित तौर पर, तब से शिक्षिका को स्कूल में प्रवेश करने की अनुमति नहीं दी जा रही थी. इसके बाद स्कूल प्रशासन ने उनका वेतन रोक दिया. इस घटना के कारण शिक्षिका लंबे समय तक बीमार थी. बाद में शिक्षा विभाग से संपर्क करने पर भी समस्या का समाधान नहीं हुआ. इसके बाद उन्होंने कलकत्ता उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया. इस मामले में न्यायाधीश ने सभी पहलुओं की जांच के बाद शिक्षक को बहाल करने का आदेश दिया है.
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