संवाददाता, कोलकाता
कलकत्ता उच्च न्यायालय ने महानगर और मैदान इलाके में चल रहीं बग्गियों के संबंध में कार्रवाई न करने पर राज्य सरकार से जवाब मांगा है. कलकत्ता हाइकोर्ट के कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश सुजय पाॅल और न्यायमूर्ति पार्थ सारथी सेन की खंडपीठ ने गुरुवार को मामले की सुनवाई करते हुए कहा कि अदालत के आदेश के बावजूद राज्य सरकार ने इस संबंध में क्यों कोई कार्रवाई नहीं की. इसका जवाब राज्य को देना होगा.
गौरतलब है कि गत वर्ष अदालत ने राज्य के पशुपालन विभाग को मैदान इलाके में घूमने वाले घोड़ों के लिए शिविर लगाकर उनका स्वास्थ्य जांच और इलाज करने का निर्देश दिया था. लेकिन आरोप है कि राज्य सरकार ने अदालत के उस आदेश का पालन नहीं किया. हाइकोर्ट ने गुरुवार को राज्य सरकार से हलफनामा के माध्यम से जवाब मांगा है कि उस आदेश का अब तक पालन क्यों नहीं किया गया.
राज्य सरकार को इस बारे में स्पष्ट रुख बताना होगा कि पिछले साल सितंबर में आदेश दिये जाने के बाद भी बीमार घोड़े स्वयंसेवी संस्था के पास क्यों हैं. इससे पहले, हाइकोर्ट ने स्वयंसेवी संगठन को कमजोर और बीमार घोड़ों की देखभाल करने का निर्देश दिया था. लेकिन आरोप है कि स्वयंसेवी संगठन के संरक्षण में 11 घोड़ों में से तीन की मौत हो गयी थी. इसके बाद, हाइकोर्ट ने पशुपालन विभाग को अपने संरक्षण में उन घोड़ों की देखभाल करने का आदेश दिया था.
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