लखनऊ : बहुजन समाज पार्टी (बसपा) सुप्रीमो ने बुधवार को बड़ा ऐलान करते हुए कहा कि मैं आगामी लोकसभा चुनाव नहीं लड़ूंगी. उन्होंने कहा कि मेरे लिये सपा-बसपा-रालोद गठबंधन का एक एक सीट जीतना महत्वपूर्ण है. हालांकि, इसके साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि यदि चुनाव के बाद ऐसी जरूरत पड़ी तो वो किसी सीट को खाली कराकर लोकसभा का चुनाव लड़ेंगी.
बुधवार को मायावती ने यह भी कहा कि उनका महागठबंधन सही तरीके से काम कर रहा है. यहां चर्चा कर दें कि मायावती की पार्टी बसपा लोकसभा चुनाव में चिर प्रतिद्वंदी समाजवादी पार्टी (सपा) के साथ गठबंधन करके चुनावी मैदान में है. इस गंठबंधन में राष्ट्रीय लोकदल भी सपा-बसपा के साथ है.
यदि आपको याद हो तो 2014 के लोकसभा चुनाव में बसपा को 20 फीसदी वोट मिले थे. पिछले लोकसभा चुनाव में पार्टी प्रदेश में अपना खाता खोल पाने में नाकाम रही थी. सपा की बात करें तो 2014 के लोकसभा चुनाव में उसे 22.2 फीसदी वोट मिले थे जबकि भाजपा को अकेले दम पर 42.3 फीसदी वोट मिले थे.
यहां चर्चा कर दें कि पिछले रविवार एक निजी चैनल के कार्यक्रम में सपा नेता और यूपी के पूर्व मुख्यमंत्री ने मायावती के चुनाव लड़ने पर कहा था कि वह मुझसे सीनियर नेता हैं, मैं उनकी पार्टी के फैसले नहीं करता. उन्हें जहां से लड़ना होगा वो खुद फैसला करेंगी.