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बिहार के गया जिले के ओमप्रकाश सिंह बने उत्तर प्रदेश के डीजीपी, …जानें कौन हैं ओपी सिंह

लखनऊ / पटना : उत्तर प्रदेश के नये डीजीपी 1983 बैच के आईपीएस अधिकारी ओम प्रकाश सिंह उर्फ ओपी सिंह होंगे. केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल में डीजी के पद पर तैनात ओपी सिंह को कैबिनेट कमेटी ऑफ अपॉइंटमेंट ने रिलीव करने की मंजूरी रविवार को दे दी. उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने 31 दिसंबर […]

लखनऊ / पटना : उत्तर प्रदेश के नये डीजीपी 1983 बैच के आईपीएस अधिकारी ओम प्रकाश सिंह उर्फ ओपी सिंह होंगे. केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल में डीजी के पद पर तैनात ओपी सिंह को कैबिनेट कमेटी ऑफ अपॉइंटमेंट ने रिलीव करने की मंजूरी रविवार को दे दी. उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने 31 दिसंबर , 2017 को ही उन्हें रिलीव करने के लिए केंद्र को पत्र लिखा था. उत्तर प्रदेश कैडर के आईपीएस अधिकारी ओपी सिंह का कार्यकाल 30 जनवरी 2020 तक होगा.

कौन हैं ओम प्रकाश सिंह

दो जनवरी, 1960 को बिहार के गया जिले शिवधारी सिंह के घर जनमे ओमप्रकाश सिंह ने राजनीति विज्ञान में मास्टर डिग्री ली. इसके बाद उन्होंने आपदा प्रबंधन में एमबीए की डिग्री हासिल की. ओपी सिंह ने मद्रास विश्वविद्यालय से एम फिल भी किया है. मात्र 23 वर्ष की उम्र में 1983 में ही वह भारतीय पुलिस सेवा के लिए चुन लिये गये. ओपी सिंह ने सेंट जेवियर्स कॉलेज, नेशनल डिफेन्स कॉलेज और दिल्ली विश्वविद्यालय शिक्षा ग्रहण की है. आईपीएस चुने जाने के बाद वह उत्तर प्रदेश में कई महत्वपूर्ण पदों पर रहे हैं. उन्होंने लखनऊ, इलाहाबाद, मुरादाबाद, लखीमपुर खीरी और अमरोहा में पुलिस अधीक्षक और वरीय पुलिस अधीक्षक के रूप में अपनी सेवाएं दी हैं. ओपी सिंह भारत की आंतरिक सुरक्षा, अपराध जांच, कानून एवं व्यवस्था, खुफिया विभागों समेत इलाहाबाद में कुंभ मेला जैसे आयोजनों को सफलतापूर्वक अंजाम तक पहुंचाया है. वर्ष 1992-93 में आतंकवादी गतिविधि का मामला हो या शिया-सुन्नी विवादों के निबटारे का, उन्होंने अपनी कार्य कुशलता से हर जगह खुद को साबित किया है. इसके लिए उन्हें वर्ष 1998 में उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा सम्मानित भी किया जा चुका है. एनडीआरएफ में योगदान देते हुए उन्होंने जम्मू-कश्मीर बाढ़, नेपाल में भूकंप, हुदहुद में चक्रवात और चेन्नई में शहरी बाढ़ जैसी बड़ी आपदाओं के बाद हालात से निबटने के साथ-साथ हजारों पीड़ितों को बचाने के लिए सफलतापूर्वक अपनी टीम का संचालन किया. उन्हें सुरक्षा के लिए क्वालिटी एक्सिलेंस अवार्ड-2017 से भी सम्मानित किया जा चुका है. ओपी सिंह को वीरता के लिए भारतीय पुलिस मेडल, प्रतिष्ठित सेवा के लिए भारतीय पुलिस पदक और मेरिटोरियस सर्विसेज के लिए भारतीय पुलिस पदक से सम्मानित किया जा चुका है. सुरक्षा तंत्र के पुनर्निर्माण और आपदा राहत कार्यों का सफलतापूर्वक नेतृत्व करने के लिए उन्हें ‘असाधारण योगदान पुरस्कार-2016’ से भी सम्मानित किया चुका है.

लेखन से जुड़े रहे हैं ओपी सिंह

ओमप्रकाश सिंह राष्ट्रीय समाचार पत्रों और पत्रिकाओं में भी लेख लिखते रहे हैं. उन्होंने नेपाल में आये भूकंप पर भी एक किताब लिखी है.

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