दवा बेचनेवाले थे दोनों, हरिद्वार से आये थेप्रतिनिधिसिमडेगा. सदर अस्पताल में एंथ्रेक्स से दो और लोगों की मौत हो गयी. हालांकि अस्पताल के डीएस डॉ विनोद उरांव का कहना है कि उक्त दोनों की मौत मलेरिया से हुई है. जानकारी के मुताबिक दवाई बेचने का धंधा करनेवालों के दल में कई लोग शामिल हैं. उक्त लोग अपने वाहन से हरिद्वार से चल कर टाटा, मनोहरपुर, बानो होते हुए सिमडेगा पहुंचे थे. उक्त लोगों ने गंभीर रूप से बीमार बिंदिया, अजमनी व कविता सिंह (तीनों महिला) को सदर अस्पताल में बुधवार को लगभग साढ़े ग्यारह बजे भरती कराया. किंतु अपराह्न लगभग चार बजे बिंदिया व अजमनी की मौत इलाज के क्रम मंे हो गयी. उक्त लोग एंथ्रेक्स से प्रभावित गांव बानो के कुरूचडेगा होते हुए आये थे. इसलिए संभावना व्यक्त की जा रही है कि उनकी मौत एंथ्रेक्स बीमारी से ही हुई. दवा बेचने वालों के दल में शामिल कई अन्य लोग भी बीमार हैं. दल में शामिल लोग कैसे बीमार हुए यह जांच का विषय है. मलेरिया से मौत हुई है: डीएससदर अस्पताल के डीएस डॉ विनोद उरांव का कहना है कि उक्त दोनंो की मौत मलेरिया से हुई. उन्हांेने बताया कि काफी गंभीर स्थिति में उक्त दोनों को सदर अस्पताल लाया गया था. उन्होंने यह भी बताया कि उनका इलाज पूर्व में मेरी वंदना अस्पताल में किया जा रही थी. किंतु वहां ठीक नहीं होने पर उसके परिजनों से सदर अस्पताल में भरती कराया था. अस्पताल में भरती एक अन्य साथी को भी उक्त लोग अपने साथ ले गये. एंथ्रेक्स के थे लक्षण: डॉ अनिलरोगियों के इलाज करनेवाले सदर अस्पताल के डॉ अनिल का कहना है कि उक्त रोगियों में एंथ्रेक्स के लक्षण पाये गये थे. उन्होंने बताया कि मरीज एंथ्रेक्स प्रभावित क्षेत्र से हो कर आये थे. इसलिए एंथ्रेक्स की संभावना से इनकार नहीं किया जा सकता है. उन्होंने कहा कि एंथ्रेक्स रोगियों में जो समस्याएं पायी जाती है वह समस्या उक्त लोगों में भी थी. शव को लेकर इधर-उधर भटकते रहे परिजनदोनो रोगियों की मौत के बाद सदर अस्पताल प्रशासन ने शव को परिजनों के हवाले कर दिया. इस दौरान शहर में यह चर्चा आम हो गयी थी कि उक्त लोगों की मौत एंथ्रेक्स से हुई है. परिजन शव को लेकर इधर उधर भटकते रहे. वह शव लेकर जिधर भी जाते लोगों के विरोध का सामना करना पड़ रहा था. लोग उन्हें अपने क्षेत्र से दूर भेजना चाहते थे. परिजन सबसे पहले शवों को लेकर शहरी क्षेत्र के खैरनटोली स्थित पेट्रोल पंप के निकट पहंुचे. यहां पर लोगों द्वारा काफी विरोध किया गया. इसके बाद उक्त लोग ठेठइटांगर गये. वहां से भी उन्हें खदेड़ा गया. फिर उक्त जोराम पहंुचे. वहां से भी कहीं अन्यत्र जाने के लिये बाध्य कर दिया गया. विवश हो कर परिजन शवों को लेकर कहीं और चले गये. ठेठइटांगर में फैली एंथ्रेक्स की अफवाहठेठइटांगर के जोराम में एक व्यक्ति की मौत के बाद एंथ्रेक्स होने की अफवाह फैल गयी. हालांकि उक्त व्यक्ति की मौत किसी अन्य कारणों से हुई है. जानकारी के मुताबिक जोराम कुम्हारटोली निवासी 45 वर्षीय लुइस डंुगडंुग की मौत हो गयी. वह पिछले तीन दिनों से बीमार था. उसका पेट फूल गया था. इसी क्रम में उसकी मौत हो गयी. किंतु लोगों ने इसे एंथ्रेक्स होने की अफवाह फैला दी. अफवाहों पर ध्यान नहीं दें: उपायुक्तउपायुक्त दीप्रवा लकड़ा एवं सिविल सर्जन डॉ एडीएन प्रसाद ने संयुक्त बयान जारी कर कहा है कि एंथ्रेक्स बीमारी को पूर्णत: नियंत्रित कर लिया गया है. लोग अफवाहों पर ध्यान नहीं दें. उपायुक्त व सीएस ने यह भी कहा है कि यह बीमारी एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में साधारणत: नहीं फैलता है. यह छूत की बीमारी नहीं है. कुरूचडेगा टोंगरीटोली गांव में इलाज शुरू होने के बाद कोई नया मरीज अब तक नहीं पाया गया है. कुरूचडेगा सहित आसपास के सभी गांव में मवेशियों का टीकाकरण किया जा रहा है.
बॉक्स ::::एंथ्रेक्स से दो और लोगों की मौत!
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