रांची: कोकर में गैर मजुरुआ, आदिवासी जमीन और नदी-नाले की जमीन की खरीद-बिक्री पर विधानसभा की कमेटी ने संज्ञान लिया है. विधानसभा की एसटी-एससी कमेटी को शिकायत मिली थी कि कोकर के तिरिल मौजा में खाता संख्या 128, 79, 38 और 26 की जमीन की अवैध खरीद-बिक्री हुई है. कमेटी के सभापति बंधु तिर्की ने मंगलवार को अचानक तिरिल स्थित उक्त खाता संख्या की जमीन का स्थल निरीक्षण किया.
श्री तिर्की के साथ जिला प्रशासन के पदाधिकारी भी स्थल निरीक्षण के लिए पहुंचे. कमेटी के सभापति सहित जिला प्रशासन के पदाधिकारियों ने पाया कि तिरिल की संबंधित खाता संख्या की जमीन पर अवैध कब्जा हुआ है. सभापति श्री तिर्की ने रांची के अंचलाधिकारी को निर्देश दिया कि उक्त खाता संख्या की जमीन की मापी कर एक सप्ताह के अंदर रिपोर्ट दें. सारी जमीन की प्रकृति विधानसभा कमेटी को बतायें. इसमें कौन सी जमीन सरकारी, आदिवासी और गैर मजुरुआ है, उसकी पूरी रिपोर्ट दें. इस बावत पूछे जाने पर श्री तिर्की ने कहा कि यह राजधानी में जमीन की अवैध सौदेबाजी का बड़ा मामला है. 44 से 50 एकड़ जमीन पदाधिकारियों की मिलीभगत से बेच दी गयी है. गैर मजुरुआ जमीन को बंदोबस्त करनेवाले पदाधिकारी भी चिह्न्ति किये जायेंगे. दोषी पदाधिकारियों पर कार्रवाई होगी. श्री तिर्की ने कहा कि आदिवासी जमीन की अवैध खरीदारी की गयी है. नाले पर मकान बना लिये गये हैं. स्थल निरीक्षण में जिला के अपर समहर्ता, बंदोबस्त पदाधिकारी और एसआर मजिस्ट्रेट शामिल थे.
जमीन के लिए बन गये आदिवासी
विधानसभा कमेटी के सभापति बंधु तिर्की ने बताया कि तिरिल में आदिवासी जमीन की खरीद-फरोख्त में घोटाला हुआ है. आदिवासी जमीन खरीदने के लिए संजय नाम का एक व्यक्ति संजय उरांव बन गया. संजय ने आदिवासी का प्रमाण पत्र भी हासिल कर लिया. श्री तिर्की ने कहा कि कमेटी पूरे मामले की जांच करेगी. जिला प्रशासन के अधिकारियों को भी जांच-पड़ताल करने का निर्देश दिया गया है. आदिवासी का प्रमाण पत्र कैसे हासिल हुआ, दोषी अधिकारी चिह्न्ति होंगे.