चैनपुर/ पलामू : पलामू के चैनपुर में डाबर आंवला केश तेल का नकली उत्पाद तैयार किया जा रहा था. करीब छह माह पहले से यह धंधा चल रहा था. फैक्टरी बनाकर इसकी बिक्री की जा रही थी. इसका सरगना चैनपुर का शमीम सिद्दीकी है. उसकी उम्र करीब 22 साल है और वह इस धंधे को […]
चैनपुर/ पलामू : पलामू के चैनपुर में डाबर आंवला केश तेल का नकली उत्पाद तैयार किया जा रहा था. करीब छह माह पहले से यह धंधा चल रहा था. फैक्टरी बनाकर इसकी बिक्री की जा रही थी. इसका सरगना चैनपुर का शमीम सिद्दीकी है. उसकी उम्र करीब 22 साल है और वह इस धंधे को चैनपुर के सूर्यमंदिर रोड से संचालित कर रहा था. डाबर कंपनी के प्रमुख जांचकर्ता रंजीत कुमार सिंह की मानें तो पांच – छह माह पहले उनलोगों को यह सूचना मिली थी कि डाबर आंवला केश तेल का नकली माल तैयार कर बेचा रहा है.
इसके बाद कंपनी के पदाधिकारियों ने पलामू पुलिस अधीक्षक इंद्रजीत माहथा से मिलकर पूरे मामले की जानकारी दी थी. इसके बाद एसपी श्री माहथा ने इस मामले के गहन जांच के लिए टीम का गठन किया था. टीम द्वारा इस पूरे मामले का उद्भेदन किया है. चैनपुर थाना प्रभारी सुनीत कुमार ने बताया कि चैनपुर से डाबर आंवला केश तेल का नकली उत्पाद बरामद किया गया है. फैक्टरी से 450 बोतल 90 एमएल का था जो भरा हुआ था. 280 खाली शीशी भी मिली है. 2000 हजार से अधिक स्टीकर भी बरामद किया गया है.
इस मामले में शमीम सिद्धीकी को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया है. छापामारी दल में सहायक अवर निरीक्ष बीरेंद्र पासवान सहित कई पुलिस कर्मी शामिल थे.
ऐसे तैयार होता था नकलीडाबर आंवला केश तेल : थाना प्रभारी सुनीत कुमार ने बताया कि पकड़े जाने के बाद शमीम सिद्दीकी ने पुलिस के समक्ष दिये गये बयान में नकली उत्पाद तैयार करने की बारे में विस्तार से जानकारी दी है. उसने बताया कि सरसों के तेल में कलर तथा सेंट मिलाकर उसे डाबर आंवला केश तेल का रूप दिया जाता था.
खासतौर पर इसकी मार्केटिंग ग्रामीण इलाकों अधिक की जाती थी. क्योंकि वहां के व्यापारियों को यह कहा जाता था कि शहर से आने वाले उत्पाद का जो रेट है उससे कम दर पर उपलब्ध करायेंगे. इसके कारण ग्रामीण इलाके के व्यापारी तैयार हो जाते थे और इधर स्थिति यह थी कि कंपनी के माल की खपत लगातार गिर रही थी.
तब कंपनी द्वारा सर्वे के लिए टीम भेजा गया था ताकि वास्तविक स्थिति का पता चल सके. जब डाबर कंपनी के लोग फील्ड में गये तो डाबर आंवला केश तेल का उत्पाद देखने को मिला. जब उन लगों ने व्यापारियों से बात की तो खुलासा हुआ कि डाबर आंवला केस तेल का डिमांड कम नहीं हुआ है. बिक्री अच्छी है. उनलोगों को चैनपुर से लेने में ही सहूलियत होती है. इसलिए खरीद लेते हैं. तब कंपनी के लोगों का शक यकीन में बदल गया और पूरे मामले की जानकारी पुलिस को दी गयी. पुलिस ने टीम बनाकर इस पूरे मामले का उद्भेदन किया.