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स्त्रियां मातृ-भाव से पुरुष से आगे बढ़ें, पुरुष भाव से नहीं

स्त्रियां मातृ-भाव से पुरुष से आगे बढ़ें, पुरुष भाव से नहीं-‘राधे-राधे’ विषय पर आयोजित व्याख्यान में बोले आचार्य विजय शंकर मेहता-माइकल जॉन प्रेक्षागृह में हनुमान सेवा ट्रस्ट ने किया आयोजनलाइफ रिपोर्टर @ जमशेदपुर जीवन प्रबंधन समूह के संस्थापक पंडित विजय शंकर मेहता ने कहा है कि श्री राधा मनुष्य के अंतर का भाव है, जो […]

स्त्रियां मातृ-भाव से पुरुष से आगे बढ़ें, पुरुष भाव से नहीं-‘राधे-राधे’ विषय पर आयोजित व्याख्यान में बोले आचार्य विजय शंकर मेहता-माइकल जॉन प्रेक्षागृह में हनुमान सेवा ट्रस्ट ने किया आयोजनलाइफ रिपोर्टर @ जमशेदपुर जीवन प्रबंधन समूह के संस्थापक पंडित विजय शंकर मेहता ने कहा है कि श्री राधा मनुष्य के अंतर का भाव है, जो मन को शांति प्रदान करता है. उन्होंने कहा कि आज हर कोई शांति की तलाश में है, किन्तु वह उसे बाहर खोजता है, जबकि उसका निवास अपने अंदर है. यही कारण है कि बाहर (पूजा-पाठ आदि में) शांति नहीं मिल रही है. उन्होंने कहा कि राधा जगज्जननी आद्याशक्ति का चौथा रूप हैं, जिनकी सिद्धि भावों के शुद्धिकरण से ही हो सकती है. पं मेहता बुधवार को हनुमान सेवा ट्रस्ट द्वारा माइकल जॉन प्रेक्षागृह में ‘राधे-राधे’ विषय पर आयोजित व्याख्यान में बोल रहे थे. उन्होंने कहा कि अज्ञानता वश आज राधा को एक नायिका मात्र के रूप में प्रस्तुत किया जाता है, किन्तु वे कर्म रूप में एक गोपी हैं, तो ज्ञान रूप में एक भाव व आराधना के रूप में सिर्फ मां हैं. उन्होंने सारी चारित्रिक विसंगतियों की जड़ मन को बताते हुए कहा कि मनुष्य के शरीर, आत्मा व मन से आबद्ध अस्तित्व को मन ही पापकर्म की ओर खींचता है. महिलाओं को आगे, पुरुषों से भी आगे निकलने का आह्वान करते हुए उन्होंने चेताया कि वे मातृ-भाव के साथ ही आगे बढ़ें, पुरुष भाव के साथ नहीं. उन्होंने बाकी देशों में परिवारों के नष्ट होने का कारण स्त्रियों में पुरुष भाव के प्रादुर्भाव को बताया. कहा कि वहां मां का चरित्र ही समाप्त हो गया है, जिसका दुष्परिणाम उन्हें भुगतना पड़ रहा है. मिठास के लिए मुस्कुराना जरूरी : ‘भक्त की क्या पहचान, हाथ से ताली और होठों से मुस्कान’ की व्याख्या करते हुए पंडित मेहता ने कहा कि भक्त मस्त रहे, मस्त रहे. लेकिन, रसिया बनने के लिए मुस्कुराना जरूरी है. बिना मुस्कराहट के जीवन रसहीन हो जाता है. कार्यक्रम में राधेश्याम अग्रवाल, दिलीप गोयल, अमरप्रीत सिंह काले, सुनील जवानपुरिया, प्रकाश शर्मा, अशोक भालोटिया, राजीव मुरारका, संजय जालन, सुबोध श्रीवास्तव समेत बड़ी संख्या में लोग मौजूद थे.

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