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राज्यपाल द्रोपदी मुर्मू ने की ”ओलचिकी” के जनक पं रघुनाथ मुर्मू की प्रतिमा का अनावरण

।। शचीन्द्र कुमार दाश/हिमांशु गोप ।। चांडिल : हूल दिवस के अवसर पर राज्यपाल द्रोपदी मुर्मू ने चांडिल स्थित एन०एच०-33 स्थित कान्दरबेड़ा दोमुहानी चौक में पंडित रघुनाथ मुर्मू की मूर्ति का अनावरण किया. साथ ही कान्दरबेड़ा दोमुहानी पथ का नाम पंडित रघुनाथ मुर्मू रख गया.हूल दिवस के अवसर महामहिम राज्यपाल ने समस्त झारखंड वासियों को […]

।। शचीन्द्र कुमार दाश/हिमांशु गोप ।।

चांडिल : हूल दिवस के अवसर पर राज्यपाल द्रोपदी मुर्मू ने चांडिल स्थित एन०एच०-33 स्थित कान्दरबेड़ा दोमुहानी चौक में पंडित रघुनाथ मुर्मू की मूर्ति का अनावरण किया. साथ ही कान्दरबेड़ा दोमुहानी पथ का नाम पंडित रघुनाथ मुर्मू रख गया.हूल दिवस के अवसर महामहिम राज्यपाल ने समस्त झारखंड वासियों को हार्दिक बधाई दी. उन्‍होंने कहा कि विकास के लिए सरकार सुविधाएं दे रही है, इसे लड़कर लेना होगा, विकास में आगे आना होगा. राज्‍यपाल ने हूल दिवस के महानायक सिद्धू-कान्हू तथा संथाली साहित्य के जनक पंडित रघुनाथ मुर्मू की तस्वीर पर माल्यार्पण भी किया.

संथाली भाषा लिपि के जनक पंडित रघुनाथ मुर्मू के बारे में उन्होंने जिक्र करते हुए कहा कि संथाली भाषा को आगे ले जाने के लिए संथाली लिपि, संथाली समाज को तोहफा देने के लिए शोध कार्य प्रारंभ किया. 1905 में जन्मे रघुनाथ मुर्मू ने 1925 में संथाली लिपि को जन्म दिया.संविधान के आठवीं सूची में संथाली भाषा को शामिल किया गया, इसे संरक्षण देने की आवश्यकता है.

थाली भाषा को बचाना है तो भाषा को आगे लाना होगा, इसे बचाने के लिए शिक्षा ,सामाजिक विकास तथा आर्थिक विकास को बढ़ावा देना होगा. रहन सहन के साथ भाषा साहित्य, संस्कृति को बचाना होगा.राज्‍यपाल ने कहा, वर्तमान सरकार ने कॉलेजों में भाषा के आधार पर विभाग बनाया, जिससे विकास होता दिख रहा है. इसके लिए उन्‍होंने सरकार को धन्यवाद दिया. द्रोपदी मुर्मू ने कहा, पंडित रघुनाथ मुर्मू साहित्यकार ही नहीं बल्कि संथाली समाज के लिए देव के समान हैं.संस्कृत से संथाली भाषा लिपि को तैयार किया गया. इस भाषा का भविष्य उज्ज्वल है. राज्यपाल ने मुख्यमंत्री को भी धन्यवाद दिया, जिन्होंने कान्दरबेड़ा दुमुहनी पथ का नाम पंडित रघुनाथ मुर्मू रखा.

पंडित रघुनाथ मुर्मू हमारे आदर्श हैं. रेलवे स्टेशन पर ओलचिकी भाषा लिखा जा रहा है.राज्‍यपाल ने संथाली समाज से अपील की कि झारखंड बहुत तेजी से आगे बढ़ रहा है. विकास कार्य में आप सभी सहभागी बनें. कार्यक्रम से 11 मांझी बाबा, प्रोजेक्ट हाई स्कूल नीमडीह से मैट्रिक के 10 टॉपर विद्यार्थियों को बैग एवं प्रोत्साहन राशि, +2 उच्च विद्यालय चांडिल से इंटर के 10 टॉपर विद्यार्थियों को आर्थिक सहयोग राशि का वितरण किया.जिला प्रशासन, सूचना एवं जनसंपर्क विभाग सरायकेला खरसावां द्वारा योजना से लयबद्ध पुस्तक ‘योजना नहीं विकास की रेखा’ का विमोचन भी महामहिम राज्यपाल के द्वारा किया गया.

जमशेदपुर के सांसद विधुत वरण महतो ने कहा, संथालियों ने ‘भारत छोड़ो’ नारा लगाकर अंग्रेजी हुकूमत की नींद उड़ा दी थी. उन्‍होंने कहा, अपनी सभ्यता का संरक्षण देते हुए शिक्षा पर जोर दें. संथाली साहित्य के जनक पंडित रघुनाथ मुर्मू को हूल दिवस पर सांसद ने नमन किया. उन्‍होंने कहा, ओलचिकी लिपि का प्रसार बढ़ाया जा रहा. मुख्यमंत्री इस विषय पर आगे बढ़कर कार्य कर रहे हैं.

ईचागढ़ विधायक साधु चरण महतो ने कहा कि योजना तैयार करें, आम सहमति बनाकर आवेदन दें. विधायक फंड से हम विकास करेंगे. हूल दिवस पर आये संथाली भाई बहनों का उन्होंने अभिनंदन किया तथा सहयोग का भरोसा दिलाया.

उपायुक्त श्री छवि रंजन ने कहा कि 7 मार्च 2019 को मुख्यमंत्री की घोषणा के बाद आज शुभ बेला आ गई जब महामहिम राज्यपाल के कर कमलों से पंडित रघुनाथ मुर्मू की प्रतिमा का अनावरण किया जा रहा है. साथ ही कान्दरबेड़ा दोमुहानी पथ का नाम पंडित रघुनाथ मुर्मू के नाम पर नामकरण किया जा रहा है. इस उपलक्ष्य में उपस्थित सभी संथाली भाई बहन साक्षी बन रहे हैं. महान संथाली साहित्यकार पंडित रघुनाथ मुर्मू के नाम से कान्दरबेड़ा दोमुहानी पथ जाना जाएगा. हूल दिवस के अवसर पर राज्यपाल ने ग्राम डोबो में 14वें वित्त आयोग अंतर्गत प्रेभर्स ब्लॉक से निर्मित पथ एवं सोलर स्ट्रीट लाइट का भी उद्घाटन किया.

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