गुड़ाबांदा.
गुड़ाबांदा प्रखंड का रहेड़गोड़ा उप्रावि का भवन जर्जर है. स्कूल का भवन पहाड़ से सटा है. चारों ओर जंगल है. यहां बच्चे जान जोखिम में डाल कर पढ़ाई करने को विवश हैं. इस साल बारिश के बाद भवन की स्थिति और खराब हो गयी है. यहां 28 बच्चे पढ़ाई करते हैं. जहां बच्चे बैठकर पढ़ते हैं, उन कमरों की हालत खराब है. छत व दीवार से प्लास्टर गिर रहा है. सरिया दिखने लगा है. खिड़की- दरवाजे टूट रहे हैं. छत से पानी टपक रहा है. ऐसे में अनहोनी का खतरा रहता है. विभाग बच्चों के भविष्य के साथ खिलवाड़ कर रहा है. मरम्मत की फाइल शिक्षा विभाग के कार्यालयों में घूम रही है. जिला मुख्यालय से कोई पहल नहीं हुई है. विद्यालय में सिर्फ दो कमरे हैं. इसमें 1 से लेकर 5वींं तक के 28 बच्चे पढ़ते हैं. स्कूल में एक शिक्षक हैं. विद्यालय की शुरुआत साल 2002 में हुई थी. एक कमरे में 5 कक्षाएं चल रही हैं. इससे शिक्षक और बच्चे दोनों परेशान रहते हैं.जलमीनार खराब, गांव से पानी लाकर बनता है एमडीएम
शिक्षिका दुलारी टुडू ने बताया कि विद्यालय को चलना बहुत मुश्किल होता है. सामने कुछ मिलता नहीं है. एमडीएम के लिए चावल 20 किमी दूर से लाना पड़ता है. पानी की सुविधा नहीं है. एक जलमीनार है, जो खराब पड़ी है. गांव से पानी ला कर काम चल रहा है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

