धनबाद.
समाहरणालय सभागार में सोमवार को उपायुक्त आदित्य रंजन की अध्यक्षता में शिक्षा विभाग की समीक्षात्मक बैठक हुई. इसमें उपायुक्त ने कहा कि गुणवत्तापूर्ण एवं समावेशी शिक्षा जिला प्रशासन की सर्वोच्च प्राथमिकता है. उन्होंने शिक्षा व्यवस्था को अधिक प्रभावी, परिणामोन्मुख और बच्चों के सर्वांगीण विकास के लिए अनुकूल बनाने की आवश्यकता पर बल दिया. वहीं बीआरसी भवन, सरकारी स्कूलों की आधारभूत संरचना, केंद्रीय विद्यालयों की स्थिति, शिक्षकों एवं कर्मियों की बायोमेट्रिक उपस्थिति, स्मार्ट क्लास और आइसीटी लैब, पौधरोपण, पुस्तक वितरण, खेलकूद, इको क्लब, पुस्तकालय और मध्याह्न भोजन योजना (एमडीएम) आदि की समीक्षा कर आवश्यक दिशा निर्देश दिए.स्कूलों का नियमित निरीक्षण करें बीआरपी, सीआरपी व बीइइओ
उपायुक्त ने सभी बीआरपी, सीआरपी एवं प्रखंड शिक्षा प्रसार पदाधिकारियों को विद्यालयों का नियमित निरीक्षण करने व संसाधनों व शैक्षणिक गतिविधियों की समीक्षा कर तुरंत जिला मुख्यालय को रिपोर्ट देने को कहा. वहीं जर्जर विद्यालय भवनों के मरम्मत एवं सुदृढ़ीकरण पर बल दिया और अक्टूबर में प्रस्तावित प्रोजेक्ट रेल परीक्षा की तैयारियों की समीक्षा कर जरूरी निर्देश दिये. इसके अलावा अन्य निर्देश भी दिये.बायोमीट्रिक हाजिरी में सुधार
इधर बायोमीट्रिक उपस्थिति में धनबाद के शिक्षा विभाग ने अप्रत्याशित प्रगति हासिल की है. गत जुलाई माह में धनबाद के सरकारी स्कूलों में जहां शिक्षकों की बायोमीट्रिक उपस्थिति औसतन 50 प्रतिशत थी, वह अगस्त में औसतन 75 प्रतिशत पहुंच गयी है. इसके साथ सरकारी स्कूलों में बायोमेट्रिक उपस्थिति में धनबाद जिला ने राज्य में दूसरा स्थान हासिल किया है. इस उपलब्धि पर उपायुक्त ने जिले के सभी शिक्षकों की सराहना की.सेवानिवृत्त शिक्षक किये गये सम्मानित
समीक्षा बैठक में तोपचांची व टुंडी प्रखंड के सेवानिवृत्त शिक्षकों को शॉल ओढ़ाकर व मोमेंटो प्रदान कर सम्मानित किया गया. तोपचांची प्रखंड से प्रयाग मंडल एवं टुंडी प्रखंड से सुबोध कुमार सेवानिवृत्ति हुए हैं. मौके पर जिला शिक्षा पदाधिकारी अभिषेक झा, जिला शिक्षा अधीक्षक आयुष कुमार व एडीपीओ आशीष कुमार आदि मौजूद थे.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

