चतरा. जिला उत्पाद अधीक्षक सुजीत कुमार ने उत्पाद आयुक्त, रांची को पत्र भेज मार्गदर्शन मांगा है. पत्र के अनुसार गत 22 अगस्त को संपन्न ई-लॉटरी में समूह संख्या सीएचटी जीआरपी002 एमआइएक्स व सीएचटीजीआरपी 005 सीओएम के प्रथम विजेता (आर-1) के रूप में अमित कुमार सिंह (पिता-ललन सिंह) सफल घोषित किये गये. इसके बाद 25 अगस्त तक आवेदक की ओर से जमा किये गये कागजातों की जांच की गयी. जांच दल की रिपोर्ट में सभी दस्तावेज सही पाये गये, लेकिन जटिलता तब सामने आयी, जब यह तथ्य उजागर हुआ कि वित्तीय वर्ष 2025-26 की अप्रैल से जून की अवधि में जिले में मानव बल प्रदाता कंपनी एम/एस केएस मल्टी फैसिलिटी सर्विस प्राइवेट लिमिटेड के माध्यम से खुदरा उत्पाद दुकानों का संचालन किया गया था. उस दौरान अमित कुमार सिंह को इसी कंपनी की ओर से जिला समन्वयक के रूप में प्रतिनियुक्त किया गया था. आंतरिक अंकेक्षक की रिपोर्ट के अनुसार उक्त अवधि में बिक्री एवं जमा राशि में 42.21 लाख 256 का अंतर पाया गया है. ऐसे में सवाल खड़ा हो गया है कि जिस व्यक्ति के समन्वयक रहते गड़बड़ी सामने आयी, वही अब जिले के उपरोक्त समूहों का प्रथम विजेता बने हैं. इस परिस्थिति को देखते हुए जिला उत्पाद अधीक्षक ने उत्पाद आयुक्त, रांची से स्पष्ट दिशा-निर्देश मांगा है. अमित कुमार सिंह के पक्ष में बंदोबस्ती की प्रक्रिया आगे बढ़ायी जाये या नहीं, इस पर मंतव्य मांगा गया है. अधीक्षक ने पत्र में लिखा है कि मुख्यालय स्तर से शीघ्र मार्गदर्शन आवश्यक है, ताकि आगे की कार्रवाई समय पर हो सके. किसी प्रकार की राजस्व क्षति नहीं हो.
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