।। सुनील तिवारी ।।
* अनुशासित व मिलनसार है चंदनकियारी की जनता
राज्यपाल श्रीमती मुर्मू ने कहा : चंदनिकयारी यानी चंदन की बगिया, शायद यह क्षेत्र पहले किसी समय में चंदन के पेड़ों से भरा होगा. मुझे लगता है कि यहां के लोगों का स्वभाव भी चंदन की तरह ही निर्मल है. यहां के लोग अनुशासित व मिलनसार भी हैं. राज्यपाल को सबसे पहले गार्ड ऑफ ऑनर दिया गया. उसके बाद वह सीधा भैरव मंदिर पहुंची और बाबा भैरव का आशीर्वाद लिया. उस दौरान उन्होंने यहां सदियों से बह रहे कुंड को भी देखा.
* राज्य की प्रथम महिला पहली बार चंदनकियारी में
श्रीमती मुर्मू ने कहा : मुझे चंदनिकयारी की इस धरती पर आ कर खुशी महसूस हो रही है. कार्यक्रम के सफल आयोजन के लिए राज्यपाल ने सभी को शुभकामनाएं दी. चंदनकियारी विधायक सह भू-राजस्व मंत्री झारखंड सरकार अमर कुमार बाउरी ने कहा, आज का दिन ऐतिहासिक है. राज्य की प्रथम महिला पहली बार चंदनकियारी की धरती पर किसी सार्वजनिक कार्यक्रम में उपस्थित हुई है. राज्यपाल ने तीन बार हमारा आमंत्रण स्वीकार कर चंदनिकयारी की जनता को अनुग्रहित किया है.
* भैरव महोत्सव के सफल आयोजन का चौथा वर्ष
श्री बाउरी ने कहा : पिछले पांच वर्ष में चंदनिकयारी सहित राज्य के अन्य धार्मिक स्थलों पर महोत्सव की शुरुआत की गयी है, ताकि झारखंड को पूरा देश व विश्व के मानचित्र पर जाना जा सके.
यह चौथा वर्ष है जब भैरव महोत्सव का सफल आयोजन किया जा रहा है. भैरव महोत्सव का महत्व बस इतना है कि बाबा ने इस महोत्सव को पितृपक्ष में न होने दिया और आज देवकाल में इस महोत्सव का आयोजन हो रहा है. इस मौके पर अतिथियों ने ‘विरासत’ पुस्तक का विमोचन किया.
* ..ताकि भैरव नाथ की ख्याति दूर-दूर तक पहुंचे
श्री बाउरी ने कहा : महोत्सव का उद्देश्य है कि बाबा भैरव नाथ की ख्याति को दूर-दूर तक पंहुचाने के साथ-साथ महोत्सव के माध्यम से स्थानीय कलाकारों को एक मंच देना है.
आज चंदनिकयारी के मंच से निकल कर कई कलाकारों ने अपनी पहचान बनाई है. आयुक्त-हजारीबाग प्रमंडल अरविंद कुमार, डीसी- बोकारो मुकेश कुमार, एसपी बोकारो पी मुरगन, निदेशक-खेल एके सिंह, निदेशक-कला-संस्कृति दीपक कुमार साही सहित अन्य प्रशासन के अधिकारी व बड़ी संख्या में दर्शक उपस्थित थे.

