सीतामढ़ी. संयुक्त किसान मोर्चा ने कहा है कि रीगा चीनी मिल प्रबंधन द्वारा साजिश के तहत किसानों को केसीसी कराये जाने के मामले में यूनियन बैंक ने केसीसीधारी 1300 किसानों का बचत खाता फ्रीज कर दिया है. इस बावत मोर्चा की टीम यूनियन बैंक पहुंचकर बैंक प्रबंधक को चेतावनी पत्र दिया कि 15 दिन में किसानों के बचत खाता को फ्रोजेन मुक्त किया जाए, अन्यथा मोर्चा बैंक का घेराव करेगा. प्रतिनिधिमंडल में मोर्चा नेता डॉ आनंद किशोर, जयप्रकाश राय, संजीव कुमार सिंह, जलंधर यदुवंशी, शशिधर शर्मा, अवधेश यादव, विमल किशोर राम, मो गयासुद्दीन, लोरिक यादव शामिल रहे. मोर्चा नेताओं का कहना है कि रीगा चीनी मिल प्रबंधन तथा उसके चहेतों ने साजिश कर करीब 12 हजार गन्ना किसानों का केसीसी कराया था तथा मिल प्रबंधन गारंटर बनकर भुगतान की जवाबदेही लिया था. प्रबंधन द्वारा भुगतान नही करने पर बैंकों ने किसानों को नोटिस करने के साथ उसका बचत खाता भी फ्रीज कर दिया. किसानों के उस बचत खाता में सरकारी योजनाओं, किसान सम्मान की राशि तथा अन्य राशि भी जमा है. इस बीच मिल का मामला एनसीएलटी पहुंचा. वहां बैंकों ने अपने दावे में केसीसी राशि को भी रखा है. अब उक्त राशि के भुगतान की जवाबदेही एनसीएलटी के जिम्मे हो गया है. उक्त संदर्भ का जिक्र करते हुए ईंखायुक्त ने बैंकों के आला अधिकारी को पत्र लिखकर किसानों के खाता को फ्रोजेन मुक्त करने का निर्देश दिया. ईंखायुक्त के पत्र के आलोक में बैंक ऑफ इंडिया ने अपने बैंक के सभी फ्रोजेन खाता को फ्री कर दिया है, परंतु यूनियन बैंक द्वारा किसानों का खाता फ्री नही किया जा रहा है. इससे किसानों में भारी गुस्सा है. किसानों के समक्ष भारी आर्थिक संकट हो गया है. इस बीच एनसीएलटी नें बैंकों को केसीसी मद में 10 प्रतिशत राशि भी भेजा है. बावजूद यूनियन बैंक बचत खाता को फ्री नही कर किसानों के साथ अन्याय कर रहा है, जिससे आक्रोशित किसानोंं ने आंदोलन का निर्णय लिया है.
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