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पटना : कागज में सिमटा अल्टीमेटम समय पर नहीं पूरा हुआ काम
पटना : पटना जंक्शन की मुख्य बिल्डिंग को रंग-बिरंगी लाइट से सजाने के साथ-साथ बाहरी लुक बदलने की कवायद चल रही है. वहीं, प्लेटफॉर्म-एक के पूर्वी छोर स्थित फुट ओवरब्रिज में एस्केलेटर लगाने, प्लेटफॉर्म के फर्श पर ग्रेनाइट लगाने, शेड बदलने और वाटर-लेस यूरिनल बनाया जा रहा है. दानापुर रेलमंडल के डीआरएम रंजन प्रकाश ठाकुर […]
पटना : पटना जंक्शन की मुख्य बिल्डिंग को रंग-बिरंगी लाइट से सजाने के साथ-साथ बाहरी लुक बदलने की कवायद चल रही है. वहीं, प्लेटफॉर्म-एक के पूर्वी छोर स्थित फुट ओवरब्रिज में एस्केलेटर लगाने, प्लेटफॉर्म के फर्श पर ग्रेनाइट लगाने, शेड बदलने और वाटर-लेस यूरिनल बनाया जा रहा है.
दानापुर रेलमंडल के डीआरएम रंजन प्रकाश ठाकुर ने आठ अप्रैल को कामों का जायजा लिया था. इस दौरान उन्होंने कहा था कि 30 अप्रैल तक हर हाल में सभी योजनाएं पूरी हो जानी चाहिए. लेकिन, संबंधित अधिकारियों ने डीआरएम के अल्टीमेटम को कागज में समेट कर रख दिया. स्थिति यह है कि सोमवार तक जंक्शन पर चल रही एक भी योजना पूरी नहीं हो सकी है.
50 प्रतिशत काम भी पूरा नहीं
जंक्शन के पूर्वी छोर स्थित फुट ओवरब्रिज में एस्केलेटर लगाने का काम चल रहा है. इस कार्य को 30 अप्रैल तक पूरा करना था. लेकिन, हकीकत यह है कि अब तक 50 प्रतिशत काम ही पूरा हो सका है. सोमवार तक सिर्फ एक एस्केलेटर आधा-अधूरा लगाया गया था और दूसरा एस्केलेटर लगाने का काम शुरू भी नहीं हुआ है. वहीं, अब तक सीढ़ी तोड़ने की प्रक्रिया ही चल रही है. इस स्थिति में अभी कम-से-कम एक माह और लगेंगे.
पश्चिमी छोर पर ग्रेनाइट लगाने का काम भी शुरू नहीं
प्लेटफॉर्म संख्या-एक 24 घंटे और सातों दिन चकाचक दिखे. इसको लेकर पूरे प्लेटफॉर्म पर ग्रेनाइट लगाया जा रहा है. लेकिन, अब तक सिर्फ प्लेटफॉर्म के बीच में ही ग्रेनाइट लगाया गया है. प्लेटफॉर्म की पूर्वी छोर की ओर काम चल रहा है. जबकि, पश्चिमी छोर की ओर काम भी शुरू नहीं हो सका है.
30 मार्च तक ही काम करना था पूरा
पटना जंक्शन को पीस थ्रू स्ट्रेंथ की थीम परविकसित किया जा रहा है. इसको लेकरजंक्शन की मुख्य बिल्डिंग के दीवारों में छेड़छाड़किये बिना कलाकृत्तियों का स्ट्रेक्चर खड़ा दिया जा रहा है. साथ ही रंग-बिरंगी लाइटों से सजाया जा रहा है. इस योजना को 30 मार्च तक पूरा करना था. लेकिन, एजेंसी व इंजीनियर की अनदेखी से निर्धारित समय-सीमा में पूरा नहीं हो सका, तो डीआरएम ने 30 अप्रैल का समय-सीमा निर्धारित किया. इसके बावजूद अब तक स्ट्रेक्चर खड़ा करने का काम आधा-अधूरा ही हुआ है. हालांकि, काम चल रहा है. लेकिन, मंगलवार तक काम पूरा होने की संभावना नहीं है.
नहीं बन सका वाटर-लेस यूरिनल
जंक्शन की सर्कुलेटिंग एरिया व प्लेटफॉर्म पर यात्री सुविधा को लेकर यूरिनल बनाया गया था. लेकिन, मेंटेनेंस के अभाव में काफी बदबू दे रहा था. इन यूरिनलों को तोड़ कर वाटर-लेस यूरिनल बनाया जाना हैं, जो 30 अप्रैल तक यूरिनल बनाने का काम पूरा करना था. लेकिन, एक भी यूरिनल नहीं बन सका है.
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