संवाददाता, पटना : राजधानी में गर्मी की दस्तक के साथ ही बिजली कंपनियों ने तैयारी पूरी कर ली है. दिसंबर महीने से शहर व आस-पास के क्षेत्रों में आरडीएसएस प्रोजेक्ट के तहत खराब बिजली खंभे, ट्रांसफॉर्मर व तारों को बदला जा रहा है. पॉश इलाकों के अलावा छोटी-छोटी बस्तियों में भी 90% से अधिक यह काम पूरा किया जा चुका है. पेसू के प्रोजेक्ट अधिकारियों के अनुसार चार महीने में पांच करोड़ रुपये से खगौल से दीदारगंज तक गर्मी में बिजली संकट न हो, इसके लिए अलग-अलग तरह के कई काम किये गये हैं. सबसे पहले 13 बिजली प्रमंडलों में 15 हजार डीबी बॉक्स को बदला जा चुका है, ताकि हाइ टेंशन पोल से उपभोक्ताओं के फेज तक बिजली संचार में किसी प्रकार की रुकावट न आये. आमतौर पर हर साल डिस्ट्रीब्यूशन बॉक्स को बदला जाता है.
15 जगहों पर लगाये गये अतिरिक्त ट्रांसफॉर्मर मेट्रो के लिए बनेंगे 14 नये पावर सब स्टेशन
पेसू के जीएम श्रीराम सिंह ने बताया कि शहर में 25 जगहों पर मुहल्लों में अल्टरनेटिव सोर्स के लिए 15 नये अतिरिक्त ट्रांसफॉर्मर लगाये गये हैं. इसके लिए प्रोजेक्ट अधिकारियों ने घनी आबादी वाले इलाकों में ट्रांसफॉर्मर पर लोड डिस्ट्रब्यूशन का सर्वे किया. जीएम सिंह ने यह भी बताया कि भविष्य में शहर में मेट्रो संचालन के कारण पेसू पर जिम्मेदारी बढ़ने वाली है. इसके लिए 14 नये पावर सब स्टेशन का निर्माण किया जा सकता है. मालूम हो कि बीते दो साल में अप्रैल से जून तक गर्मी अधिक पड़ने के कारण रोजाना 900 मेगावाट बिजली का इस्तेमाल किया जा रहा थी, जिससे दोपहर व रात के समय में बिजली का अत्याधिक इस्तेमाल हाेने के कारण व्यवस्था चरमरा जा रही थी.
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