Muzaffarpur News: मुजफ्फरपुर-यशवंतपुर एक्सप्रेस (15228) से 33 बच्चों को एक साथ मानव तस्करों के चंगुल से बचाया गया है. आरपीएफ, जीआरपी और बीबीए द्वारा चलाए गए संयुक्त अभियान के तहत टीम को यह बड़ी सफलता मिली है. इस टीम का नेतृत्व आरपीएफ इंस्पेक्टर मनीष कुमार ने किया. इस कार्रवाई को लेकर उन्होंने बताया कि इस कार्रवाई में पांच मानव तस्करों की भी गिरफ्तारी हुई है. इसमें एक मुजफ्फरपुर, एक नेपाल, दो सीतामढ़ी व एक पश्चिम बंगाल का रहनेवाला है.
14-17 साल के सभी बच्चे
आरपीएफ इंस्पेक्टर ने आगे बताया कि इन बच्चों को मानव तस्कर लालच देकर विशाखापत्तनम, पेरम्बूर, चेन्नई व कोलकाता में कार वाशिंग फैक्टरी सहित अन्य कामों में मजदूरी कराने ले जा रहे थे. उन्हें 10 हजार से 12 हजार रुपये महीने का लालच देकर ले जा रहे थे. सभी बच्चों की उम्र 14 से 17 साल के बीच है. इसमें सबसे अधिक सीतामढ़ी, नेपाल, मुजफ्फरपुर के बच्चे शामिल हैं. आरोपियों को गिरफ्तार कर बरामद 33 बच्चों को लिखित शिकायत के साथ जीआरपी को सौंप दिया गया है. रेल पुलिस के इस अभियान में आरपीएफ इंस्पेक्टर के साथ गोकुलेश पाठक, सुष्मिता, गिरीश, अभिषेक, संतोष झा, रीतेश, लालबाबू खान, राघवेंद्र ठाकुर, त्रिपुरारी शरण, जय मिश्र और शिवपूजन मौजूद थे.
ये लोग हुए गिरफ्तार
इस कार्रवाई में जिन मानव तस्करों को गिरफ्तार किया गया है, उनमें नेपाल के रहने वाले शिवजी सदा, पश्चिम बंगाल के मंजारूल शेख, मुजफ्फरपुर के रंधीर कुमार, सीतामढ़ी के श्याम कुमार और धीरज कुमार शामिल हैं. वहीं जो बच्चे मानव तस्करों को चंगुल से छुड़ाए गए हैं, उनमें नेपाल से 8, सीतामढ़ी से 16, मुजफ्फरपुर से 6 और पश्चिम बंगाल से 3 बच्चे शामिल हैं.
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