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तीन पीओ पर होगी कार्रवाई

मनरेगा घोटाला. असरगंज के पीओ की सेवा हो चुकी है समाप्त जिले में लंबे समय से मनरेगा की योजना में घोटाला हो रहा है. पैसे और पैरवी के बल पर घोटाले के आराेपित बचते आ रहे थे. लेकिन जैसे-जैसे जांच आगे बढ़ रही है. वैसे-वैसे घोटाले से जुड़े आरापियों पर कार्रवाई प्रारंभ हो गयी है. […]

मनरेगा घोटाला. असरगंज के पीओ की सेवा हो चुकी है समाप्त

जिले में लंबे समय से मनरेगा की योजना में घोटाला हो रहा है. पैसे और पैरवी के बल पर घोटाले के आराेपित बचते आ रहे थे. लेकिन जैसे-जैसे जांच आगे बढ़ रही है. वैसे-वैसे घोटाले से जुड़े आरापियों पर कार्रवाई प्रारंभ हो गयी है. जिलाधिकारी उदय कुमार सिंह ने असरगंज पीओ दिलीप कुमार को मनरेगा में व्यापक अनियमितता तथा वित्तीय गड़बड़ी के मामले में सेवा से मुक्त कर दिया है. वहीं अब तारापुर, संग्रामपुर एवं हवेली खड़गपुर के पीओ जांच के घेरे में हैं.
मुंगेर : गरीबों को 100 दिनों का रोजगार उपलब्ध कराने वाला महात्मा गांधी रोजगार गारंटी योजना मुंगेर जिले में घोटालों की भेंट चढ़ चुकी है. पौधरोपण के नाम पर जिले के विभिन्न पंचायतों में करोड़ों रुपये का घोटाला किया गया है. योजना में वित्तीय अनियमितता व घोटाले के मामले लगातार सामने आ रहे. असरगंज, तारापुर, संग्रामपुर, हवेली खड़गपुर में इन योजनाओं में बरती गयी अनियमितता अब सामने आने लगी है. जो जांच के बाद हुई कार्रवाई से सामने खुल कर दिखने लगा है.
असरगंज पीओ की हो चुकी सेवा समाप्त : असरगंज पीओ दिलीप कुमार को सरकारी कार्यों में लापरवाही, अरुचि और अनियमितता बरतने पर जिलाधिकारी ने उनका अनुबंध को पिछले माह रद्द कर दिया था. योजना में असरगंज पीओ दिलीप कुमार द्वारा सामग्री मद पर रोक के बावजूद निकासी की गई. राशि की निकासी अनिल कुमार कनीय अभियंता के संबंधी के नाम के प्रतिष्ठान को भुगतान किये जाने का आरोप था. इस अनिमियता के मामले में जिलाधिकारी ने पीओ से स्पष्टीकरण मांगा था.
पीओ द्वारा दिया गया स्पष्टीकरण संतोषजनक नहीं पाया गया. साथ ही मनरेगा जांच दिवस के दौरान अनुमंडल पदाधिकारी तारापुर ने जांच के बाद प्रतिवेदन दिया था कि रहमतपुर पंचायत से संबंधित अभिलेख कार्यक्रम पदाधिकारी के पास रहने के कारण मात्र तीन योजनाओं की ही जांच हो पायी. उसमें भी अनियमितता हुई है. यहां तक कि जिलाधिकारी द्वारा खोजने के बावजूद जो असरगंज में मौजूद नहीं पाया गया फलत: उसके अनुबंध को रद्द कर दिया.
तीन पीओ पर लटक रही तलवार : मनरेगा योजना में बड़े पैमाने पर अनियमितता बरती गयी है. सूत्रों की अगर माने तो जिले के तीन प्रखंडों के प्रोग्राम पदाधिकारी के खिलाफ जांच में भारी अनियमितता बरतने का सबूत मिला है. इन प्रखंडों में बिना पोधा लगाये ही करोड़ों रूपये की निकासी कर ली गयी है. जांच करने वाले पदधिकारियों ने जब जांच रिपोर्ट सौंपा तो जिलाधिकारी ने इन पीओ से स्पष्टीकरण पूछा. लेकिन उसका जबाव संतुष्ट करने वाला नहीं रहा. जिसके कारण इन पीओ के खिलाफ कार्रवाई तय मानी जा रही है. कहा जा रहा है कि इन तीन पीओ का अनुबंध समाप्त करने की तैयारी चल रही है.
वित्तीय अनियमितता में नहीं हुई कार्रवाई
वित्तीय अनियमितता के मामले में असरगंज के मनरेगा पीओ की सेवा तो समाप्त कर दी गयी. लेकिन उसके विरुद्ध कोई कानूनी कार्रवाई नहीं हुई. यहां तक कि रोक के बावजूद राशि के भुगतान के मामले में उसके विरुद्ध न तो प्राथमिकी दर्ज की गयी और न ही राशि वसूली की कार्रवाई की गयी. जानकार बताते हैं कि चूंकि असरगंज में सरकारी राशि में व्यापक अनियमितता हुई है. इसलिए इस मामले में एफआइआर दर्ज होनी चाहिए थी जो अब तक नहीं हो पायी है.

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