Motihari: मोतिहारी. चंपारण के न्यूरो सर्जन डॉ प्रकाश खेतान का लोहा आज पूरी दुनिया मान रही है. वरीय चिकित्सक ने 12 साल की बच्ची के स्पाइन कार्ड से न सिर्फ 14 सेंटीमीटर का सिस्ट निकाला, बल्कि हड्डी को बिना डैमेज किए फिर से जोड़ दिया. करीब 12 घंटे तक चले इस मैराथन ऑपरेशन को ””इंटरनेशनल बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड्स”” में शामिल किया गया है. इस जटिल और दुर्लभ ऑपरेशन ने न सिर्फ बच्ची को जीवनदान दिया, बल्कि उसे आम बच्चों की तरह हर काम करने में सक्षम बना दिया. इस सफल ऑपरेशन को विश्व कीर्तिमान का दर्जा देते हुए इंटरनेशनल बुक आफ वर्ल्ड रिकार्ड में दर्ज किया गया है. मोतिहारी शहर के स्टेशन रोड निवासी डॉ. प्रकाश खेतान ने प्रेसवार्ता को संबोधित करते विश्व कीर्तिमान बनने की जानकारी दी. कहा कि मीरजापुर की रहने वाली परी सिंह का आपरेशन 12 सितंबर 2024 को किया था. यह 12 घंटे की मैराथन सर्जरी थी. बताया कि इस तरह की सर्जरी इंस्टीट्यूशनल होती है. कई डॉक्टर्स का पैनल मिलकर इसे पूरा करता है, लेकिन हमने इसे अकेले ही किया. चैलेंजिंग तो बहुत था. मन में डर भी लगता था, लेकिन खुद पर और ऊपर वाले पर भरोसा रखकर सर्जरी की. ऑपरेशन सफल रहा और इसके बेहतर परिणाम भी सामने आया. आज बच्ची पूरी तरह स्वस्थ्य है. वह चल फिर कर रही है, परिजन अब उसे शिक्षा के लिए स्कूल भी भेजने की तैयारी में है.
डॉ प्रकाश खेतान ने अपने नाम किया चौथा वर्ल्ड रिकॉर्ड
डॉ. खेतान के नाम इससे पहले भी कई वर्ल्ड रिकॉर्ड दर्ज हैं. सबसे पहले डॉ. प्रकाश खेतान का नाम 13 अप्रैल 2011 को ब्रेन से 296 सिस्ट निकालने के लिए गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकार्ड में दर्ज हुआ था. इसके बाद 2012 में उन्हें लिम्का बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड में नाम दर्ज कराया था. उन्होंने सबिता अग्रवाल नाम की महिला के दिमाग से 240 ग्राम का ट्यूमर निकाला था. 4 मार्च 2014 को डॉ. प्रकाश खेतान का नाम ””एशिया बुक ऑफ वर्ल्ड रिकार्ड”” में दर्ज किया गया था.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है