मोतिहारी/मधुबन.थाना क्षेत्र के ब्लॉक गेट के सामने शनिवार रात गोलू कुमार की चाकूमार हत्या से जन आक्रोश भड़क गया. रविवार को सैकड़ों की तादात में आक्रोशित ग्रामीणों ने एक साथ दो जगहों पर टायर जला आवागमन को अवरुद्ध कर दिया. नाराज ग्रामीणों की एक टोली डाकबंगला चौक तो दुसरी टोली इंस्पेक्टर चौक के पास आगजनी कर सड़क को जाम कर दिया. इतना ही नहीं लोगों में गुस्सा इतना था कि आरोपियों के घर पर चढ़कर भी हंगामा किया. घंटों तक मधुबन में अफरा-तफरी मची रही.
आक्रोशित ग्रामीण आरोपियों की जल्द गिरफ्तारी व पीड़ित परिवार को उचित सरकारी सहायता देने की मांग पर अड़े थे. घटना की सूचना पर थानाध्यक्ष संजीव मौआर दलबल के साथ पहुंच नाराज लोगों को समझा-बुझा कर शांत कराया. उन्होंने आश्वासन दिया कि हत्यारों को जल्द गिरफ्तार कर लिया जायेगा. थानाध्यक्ष के आश्वासन पर ग्रामीणों का गुस्सा शांत हुआ, उसके बाद आवागमन शुरू हो सका. बताते चलें कि टिकम गांव के जगदीश ठाकुर का पुत्र गोलू शनिवार को अपने दोस्त को छात्र बाजार से वापस लौट रहा था. इस दौरान बदमाशों ने घेर रुपये मांगा. उसने रुपये नहीं दिया तो बदमाश उसकी साइकिल छिनने लगे. विरोध करने पर गोलू को चाकू घोंप दिया. घटना को अंजाम देकर बदमाश भाग निकले. सूचना पर परिजन पहुंचे. अस्पताल ले जाते समय बीच रास्ते में उसकी मौत हो गयी.गांजा का पुड़िया खरीदने के लिए मांग रहे थे दस रुपये
बताया जाता है कि गोलू की हत्या में शामिल सभी बदमाश कम उम्र के है. सभी गांजा (मादक पदार्थ) पीने के आदि है. गोलू को घेर गांजा पीने के लिए ही दस रुपये मांग रहे थे. उसने पैसा नहीं दिया तो गांजा काटने वाला चाकू उसके सीने में घोंप दिया, जिससे उसकी मौत हो गयी. बताया यह भी जाता है कि गोलू की हत्या में शामिल सभी बदमाशों की उम्र 14-15 साल के बीच की है, जो नशे के लिए राहगीरों से छिना-झपटी भी करते रहते हैं.तीन भाइयों में छोटा था गोली, हत्या से घर में कोहराम
गोलू तीन भाइयों में सबसे छोटा होने के साथ सबका दुलारा था. उसकी हत्या से पूरा परिवार बदहवास है. परिजनों का रो-रो कर बूरा हाल है. गोलू की मां ललिता देवी, पिता जगदीश ठाकुर,दोनों भाई मनोज कुमार व शशि कुमार,बहन सीमा व पुष्पा दहाड़ मार रो रही थी. ललिता रोते-रोत सबों से एक ही सवाल पूछ रही थी कि हमार गोलू कहां बा, लेकिन उसके सवालों का जवाब देने की हिम्मत किसी में नहीं थी.खेती-बाड़ी के साथ यजमानी करते हैं गोलू के पिता
गोलू के पिता जगदीश ठाकुर खेती-बाड़ी के साथ यजमानी करते हैं. गोलू के परिवार काे गांव के किसी भी व्यक्ति के साथ कोई विवाद नहीं रहता है. पढ़ने में भी गोलू तेज था. उसके पिता की इच्छा थी कि गोलू को पढ़ा-लिखा कर बड़ा आदमी बनाये, लेकिन जगदीश के सपन पूरा नहीं हो सका. नशेड़ियों में उसके पुत्र को मौत के घाट उतार दिया.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है