मधुबनी. राष्ट्रीय उपभोक्ता दिवस के अवसर पर जिला उपभोक्ता न्यायालय परिसर में बुधवार को जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया. इसका उद्देश्य आम उपभोक्ताओं को उनके अधिकारों, कर्तव्यों व उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम की जानकारी देना था. कार्यक्रम की अध्यक्षता आयोग के सदस्य पवन कुमार चौधरी ने की. उन्होंने कहा कि उपभोक्ता समाज की रीढ़ हैं. हम लोग किसी न किसी रूप में उपभोक्ता हैं. चाहे वह भोजन हो दवा हो शिक्षा या कोई अन्य सेवा. लेकिन कई बार जानकारी के अभाव में उपभोक्ता शोषण का शिकार हो जाते हैं. ऐसे में उपभोक्ता न्यायालय आमलोगों के लिए न्याय का सुलभ सस्ता त्वरित मंच है. उपभोक्ताओं को समयबद्ध न्याय, ऑनलाइन शिकायत दर्ज करने की सुविधा तथा इ–कोर्ट जैसी डिजिटल व्यवस्थाएं उपलब्ध करायी गयी है.वहीं संघ के पूर्व अध्यक्ष अमरनाथ झा ने कहा कि उपभोक्ताओं को सही गुणवत्ता की वस्तु उचित मूल्य पर मिले. यदि उपभोक्ताओं के साथ धोखाघड़ी हो तो उपभोक्ता को यहां से न्याय मिल सके. उन्होंने कहा कि जिला उपभोक्ता न्यायालय में 50 लाख रुपये तक के मामले का सुनवाई होती है. वहीं, 5 लाख रुपये तक वाद लाने में कोई शुल्क नहीं लगता है. इसमें वाद ऑनलाइन के माध्यम से भी दाखिल कर सकते हैं. वहीं, अन्य वक्ताओं ने कहा कि उपभोक्ता को जागरूक होना होगा . उपभोक्ताओं को खरीदारी के समय बिल लेना, उत्पाद की गुणवत्ता की जांच करना और किसी भी तरह की धोखाधड़ी होने पर उपभोक्ता न्यायालय में शिकायत दर्ज कराना चाहिए. साथ ही उपभोक्ताओं से अपने अधिकारों के प्रति सजग रहने की अपील की. कार्यक्रम को रानी विक्रमशीला, शंभुशरण झा, विभूति रंजन,संजय कुमार महासेठ, प्रदीप पासवान, विकास कुमार, साकेत कुमार महतो, संजय कुमार झा, उपभोक्ता न्यायालयकर्मी मीरा कुमारी, मो. फिरोज अंसारी, रवि कुमार चौधरी उपस्थित थे.
डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

