मधुबनी. डीएम व जिला स्वास्थ्य समिति के अध्यक्ष आनंद शर्मा की अध्यक्षता में स्वास्थ्य विभाग की समीक्षा बैठक हुई. इस दौरान डीएम ने ऑनलाइन कंसल्टेशन नहीं करने वाले चिकित्सकों को चिह्नित कर कार्रवाई करने का निर्देश दिया. परिवार कल्याण कार्यक्रम के तहत जिला का औसत 54 प्रतिशत से कम वाले बेनीपट्टी, राजनगर, फुलपरास, लौकहा, बाबूबरही, घोघरडीहा, अंधराठाढ़ी, झंझारपुर, लदनियां, लौकही, पंडौल के प्रभारी से जबाव-तलब किया. दूसरी ओर अंतरा में कम प्रदर्शन करने वाले नीचे से तीन जयनगर, खुटौना एवं हरलाखी के प्रभारी से जबाव तलब किया है. पंडौल प्रखंड के एपीएचसी सरिसवपाही की एएनएम रुपम कुमारी व एपीएचसी भौर की एएनएम दीपा रानी पर मरीजों की वाइटल इंट्री नहीं किये जाने के कारण दो दिनों के वेतन कटौती का निर्देश दिया. समीक्षा क्रम में नियमित टीकाकरण में शत-प्रतिशत पूर्ण टीकाकरण का लक्ष्य प्राप्त करने का डीएम ने निर्देश दिया. डीएम ने वैसे सभी स्वास्थ्य उपकेंद्रों को क्रियाशील करने का निर्देश दिया जहां वर्तमान में प्रभावी चिकित्सा सेवाएं नहीं हैं. वर्तमान में स्वीकृत 255 स्वास्थ्य उपकेंद्रों का संचालन संबंधित प्रखंडों में सरकारी भवन चिह्नित कर यथाशीघ्र क्रियाशील करने का निर्देश दिया. उन्होंने सिविल सर्जन को सभी अनुमंडलीय अस्पताल जहां अल्ट्रासाउंड की सुविधा नहीं है, वहां इसे सर्वोच्च प्राथमिकता रखते हुए अल्ट्रासाउंड सुविधा उपलब्ध कराने का निर्देश दिया. डीएम ने सभी प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारियों को सप्ताह में दो दिन अपने क्षेत्र अंतर्गत सरकारी स्वास्थ्य संस्थानों सहित निजी क्लीनिक, नर्सिंग होम का नियमित रूप से निरीक्षण कर निरीक्षण प्रतिवेदन सिविल सर्जन कार्यालय को उपलब्ध कराने का निर्देश दिया. डीएम ने संस्थागत प्रसव में हर हाल में वृद्धि करने का निर्देश दिया. उन्होंने डीसीएम को संस्थागत प्रसव का आशा वार प्रखंड स्तर पर समीक्षा करने निर्देश दिया. साथ ही लाइन लिस्टिंग के साथ प्रारंभ से लेकर संस्थागत प्रसव तक रिपोर्ट प्रत्येक माह उपलब्ध कराने का निर्देश दिया. उन्होंने गर्भवती महिलाओं को आईएफए एवं कैल्शियम टेबलेट शत प्रतिशत उपलब्ध कराने के लिए एएनएम के माध्यम से विशेष प्रयास करने का निर्देश दिया. भव्या पोर्टल के माध्यम से ऑनलाइन चिकित्सालय सलाह में राजनगर के पटवारा एवं पीएसी बेनीपट्टी के आउटसोर्स डाटा ऑपरेटर द्वारा कार्य में लापरवाही बरतने के कारण सीएस को अनुशासनिक कार्रवाई करने का निर्देश दिया. डीएम रोस्टर के अनुसार कर्मियों एवं डॉक्टरों को उपस्थित रहने का निर्देश दिया. दवा की कमी रहने की स्थिति में प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी जिम्मेवार होंगे. डीएम ने दवा की उपलब्धता के बावजूद किसी भी परिस्थिति में मरीज को दवा बाहर से क्रय नहीं करना पड़े, यह हर हाल में सुनिश्चित करने का निर्देश दिया. उन्होंने आयुष्मान भारत की समीक्षा क्रम में आयुष्मान कार्ड के लिए प्रतिमाह 3 दिन का विशेष अभियान चलाना सुनिश्चित करने का निर्देश दिया. बैठक में अपर समाहर्ता मुकेश रंजन, अपर समाहर्ता आपदा संतोष कुमार, सिविल सर्जन डॉ. हरेंद्र कुमार, जिला प्रतिरक्षण पदाधिकारी, डीएमओ डॉ. दया शंकर सिंह, डीपीएम पंकज कुमार, डीपीओ आईसीडीएस, जिला स्वास्थ्य समिति के सभी सलाहकार, सभी स्वास्थ्य अधीक्षक व उपाधीक्षक, जिले के सभी प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी, अस्पताल प्रबंधक एवं प्रखंड स्वास्थ्य प्रबंधक उपस्थित थे.
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