मधेपुरा. मधेपुरा नगर परिषद प्रशासन के अधिकारियों की उदासीनता के कारण गुमटी नदी का अस्तित्व खतरे में है. सफाई कर्मचारियों द्वारा नदी किनारे शहर का कचरा फेंका जा रहा है. इससे लोगों का जीना मुहाल हो गया है. लोग नगर परिषद के इस लापरवाही का आलोचना कर रहे हैं. इसके बावजूद नगर परिषद के कार्य में सुधार नहीं हो रहा है. नदी को ही बना दिया है कचरा डंपिंग यार्ड- शहर में कचरा डंपिंग यार्ड नहीं होने के कारण नगर परिषद के द्वारा नदी किनारे या फिर केबी वीमेंस कॉलेज के पीछे फेंका जा रहा है, जिससे नदी के अस्तित्व पर ही खतरा मंडरा रहा है. नगर परिषद का यह कोई पहला मामला नहीं है या फिर यह पहली नदी नहीं है, जिसको दूषित किया जा रहा है. इससे पहले नगर परिषद के द्वारा शहर के अन्य नदियों को भी बर्बाद किया जा रहा था. जहां पर लोगों द्वारा विरोध के बाद कचरा डालना बंद किया गया था. लोग में आक्रोश- नगर परिषद की कार्यशैली व लापरवाही से लोग आक्रोशित हैं. लोगों ने जिला प्रशासन से कचरा हटवाने की मांग की है. नदी के अस्तित्व बचाने की गुहार लगायी है. मालूम हो कि शहर में कचरा डंपिंग यार्ड नहीं होने के कारण सफाई कर्मी सड़क किनारे व नदी किनारे ही कचरा फेंक देता है. इसके कारण नदी किनारे कचरे का अंबार लगा हुआ है, जिससे निकलने वाली दुर्गंध से लोगों का बुरा हाल है और नदी का जल दूषित हो चुका है.
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