ठाकुरगंज
पूर्वोतर सीमांत रेलवे के महाप्रबंधक चेतन श्रीवास्तव गुरुवार को गलगलिया अररिया नई रेल लाइन का निरीक्षण करेंगे. जीएम का निरीक्षण इस रेलखंड पर ठाकुरगंज से पौआखाली होने वाले सीआरएस निरीक्षण के पूर्व की कवायद मानी जा रही है. बताते चले मुख्य रेल संरक्षा आयुक्त द्वारा पिछले वर्ष ठाकुरगंज से पौआखाली के 23.242 किलोमीटर रेल खंड का 29 और 30 अप्रेल को निरीक्षण किया गया था. जिसके बाद 12 जून को पुन हुए सीआरएस जांच के बाद इस रेलखंड पर ट्रेन परिचालन के लिए हरी झंडी दे दी गई थी . वही नवम्बर माह में अररिया कोर्ट-रहमतपुर सेक्शन (3.95 किमी) और अररिया-रहमतपुर सेक्शन से वाई-कनेक्शन (4.292 किमी) को चालू करने की मंजूरी सीआरएस ने प्रदान की थी.110.75 किमी लम्बे इस रेल खंड पर अब तक लगभग 31 किमी रेल खंड को स्वीकृति दी जा चुकी है. वही रेल सूत्रों ने बताया की जीएम गुरुवार को पौआखाली स्टेशन का निरीक्षण के बाद वहा से कालियागंज तक ट्रोली निरीक्षण करेंगे.12 बजे पौआखाली पहुंचेगे जीएम
रेलवे द्वारा जारी शिड्यूल के अनुसार जीएम चेतन श्रीवास्तवसुबह 9 बजकर 10 मिनट से हवाई मार्ग से बागडोगरा पहुंचेगे. सुबह 10 : 15 पर बागडोगरा आने के बाद वे वहा से पौआखाली के लिए प्रस्थान करेंगे. हालांकि जारी विज्ञप्ति में यह नहीं बताया गया कि बागडोगरा से पौआखाली जीएम सड़क मार्ग से या स्पेशल ट्रेन से पहुचेंगे.रेल खंड पर 12 हॉल्ट और स्टेशन का होगा निर्माण
बताते चले 110.75 किमी इस रेलखंड पर ठाकुरगंज से अररिया के बीच 12 हॉल्ट और स्टेशन का निर्माण होगा जिसमे भोगडाबर, कादोगांव हॉल्ट, पौआखाली, तुलसिया, बीबीगंज, टेढ़ागाछ हॉल्ट, कलियागंज, बरदाहा हॉल्ट, लक्ष्मीपुर, खवासपुर हॉल्ट, बांसबारी व रहमतपुर है , जिसमे पावाखली-बीबीगंज (17.94 किमी) बीबीगंज से लक्ष्मीपुर (45.12 किमी ) लक्ष्मीपुर से रहमतपुर (16.21 किमी) का काम अभी जारी है.
जीएम के दौरे को लेकर ठाकुरगंज में तैयारी जोरो पर
वही जीएम के दौरे को लेकर ठाकुरगंज स्टेशन पर भी तैयारिया जोरो पर है. बताते चले अमृत भारत योजना के तहत ठाकुरगंज रेलवे स्टेशन पर इन दिनों विकास कार्य संचालित किया जा रहा है. जिसको लेकर स्टेशन का प्लेटफार्म नंबर 1 इन दिनों गढ़हो में तब्दील हो चुका है . इस कारण प्लेटफार्म पर गंदगी का आलम था लेकिन जीएम के आने की सुचना के साथ प्लेटफार्म को साफ किया गया.गड्ढे में परिवर्तित प्लेटफार्म के गड्ढों को भरकर उसपर रोलर चलाकर उसे बराबर करने का काम किया गया. गंदे हो चुके पंखो को साफ़ किया गया.राष्ट्रीय सुरक्षा परियोजना में शामिल है यह परियोजना
रक्षा मंत्रालय द्वारा सुपौल-अररिया और अररिया से गलगलिया तक प्रस्तावित नई रेललाइन प्रोजेक्ट को सामरिक दृष्टि से महत्वपूर्ण मानते हुए गलगलिया – अरर्रिया परियोजना को राष्ट्रीय सुरक्षा परियोजना में शामिल कर लिए जाने के बाद लोगो को उम्मीद जगी है की राष्ट्रीय सुरक्षा परियोजना के कारण इसका निर्माण तेजी से होगा. वर्ष 2006 को तत्कालीन रेलमंत्री लालू प्रसाद यादव व तत्कालीन स्थानीय सांसद मो तस्लीमुद्दीन द्वारा उक्त न्यू बीजी रेललाइन परियोजना का शिलान्यास किया गया था. पर 12 वर्ष बीत जाने के बावजूद उक्त रेल योजना को विभागीय उदासीनता के कारण अमलीजामा नहीं पहनाया गया है,जबकि मोदी सरकार ने वर्ष 2014 में अपने पहले रेलबजट में उक्त रेल परियोजना को आगे बढ़ाने व भूमि अधिग्रहण कार्य हेतु रेलवे व जिला प्रशासन को राशि भी आबंटित कराई थी . राज्य सरकार के द्वारा गत वर्ष जून 2017 को उक्त रेल परियोजना के तहत भूमि अधिग्रहण कार्य हेतु अधिसूचना भी जारी की गई थी . इस रेल परियोजना से किशनगंज एवं अररिया जिला समेत सीमांचल के लगभग 10 लाख आबादी सीधे तौर पर लाभान्वित होंगे.
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