किशनगंज. कालाजार, जिसे लीशमैनियासिस भी कहा जाता है, एक गंभीर और जटिल बीमारी है, जो मुख्य रूप से गरीब और ग्रामीण क्षेत्रों में फैलती है. इस बीमारी से बचाव और नियंत्रण के लिए जागरूकता बहुत जरूरी है, ताकि लोग इस घातक रोग से बच सकें. कालाजार का प्रसार मुख्य रूप से रेत मच्छरों द्वारा होता है, और इसके शुरुआती लक्षणों में बुखार, वजन में कमी, और भूख का न लगना शामिल होते हैं. यह बीमारी अगर समय रहते नहीं पकड़ी जाती, तो यह गंभीर रूप ले सकती है. इस चुनौती से निपटने के लिए सरकार और स्वास्थ्य विभाग कई उपायों पर काम कर रहे हैं. इसी दिशा में सदर अस्पताल में एक महत्वपूर्ण बैठक का आयोजन किया गया. बैठक की अध्यक्षता सदर अस्पताल के उपाधीक्षक डॉ अनवर हुसैन ने की. इस बैठक का उद्देश्य कालाजार के बारे में लोगों में जागरूकता फैलाना और इस रोग के नियंत्रण के लिए प्रभावी कदम उठाना था. जानकारी की कमी और लापरवाही के कारण इसके प्रसार में बढ़ोतरी हो रही है.
सदर अस्पताल की तैयारी और व्यवस्था
सदर अस्पताल के उपाधीक्षक डॉ. अनवर हुसैन ने बताया की सदर अस्पताल में कालाजार के रोगियों के इलाज के लिए पूरी व्यवस्था की गई है. अस्पताल में आधुनिक उपकरण और विशेषज्ञ चिकित्सक इस रोग का इलाज करने के लिए उपलब्ध हैं. अस्पताल में कालाजार के निदान के लिए टेस्टिंग सुविधा उपलब्ध है, और यदि मरीज की पुष्टि हो जाती है, तो उन्हें पूरी तरह से इलाज की प्रक्रिया से गुजरने का मौका मिलता है. इसके अलावा, अस्पताल में रोगियों को उचित स्वास्थ्य सुविधाएं और दवाइयां प्रदान की जाती हैं.इस बैठक के दौरान डॉ. अनवर हुसैन ने बताया कि स्वास्थ्य विभाग और स्थानीय प्रशासन मिलकर कालाजार के नियंत्रण और रोकथाम के लिए लगातार काम कर रहे हैं. उन्होंने बताया कि अस्पताल के कर्मचारी और चिकित्सा टीम ने इस रोग के बारे में जागरूकता अभियान चलाने के लिए क्षेत्रीय स्तर पर कई पहल की हैं, ताकि लोग समय रहते इस रोग से बच सकें और उचित इलाज प्राप्त कर सकें.सामूहिक प्रयासों से इस चुनौती का सामना करना होगा
जिला वेक्टर जनित रोग नियंत्रण पदाधिकारी डॉ मंजर आलम ने बताया की कालाजार जैसी बीमारियों से लड़ने के लिए समाज का सहयोग अत्यंत महत्वपूर्ण है. जागरूकता बढ़ाने, समय रहते उपचार कराने और स्वास्थ्य अधिकारियों के निर्देशों का पालन करने से ही हम इस रोग पर काबू पा सकते हैं. यही समय है जब हमें सामूहिक प्रयासों से इस चुनौती का सामना करना होगा और अपने जिले को कालाजार से मुक्त करने के लिए पूरी तरह से तैयार रहना होगा. इस बैठक ने यह स्पष्ट किया कि स्वस्थ और सुरक्षित भविष्य के लिए हर व्यक्ति को अपनी जिम्मेदारी समझनी होगी और स्वास्थ्य विभाग के साथ मिलकर इस अभियान को सफल बनाना होगा.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है