प्रतिनिधि, कुदरा. एक सप्ताह से जारी शीतलहर व कड़ाके की ठंड से आम जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया है. ठंड व शीतलहर से बचने के लिए लोग दिनभर घरों में दुबके रहे. सबसे अधिक परेशानी बुजुर्गों को झेलनी पड़ी. बुजुर्ग व बच्चे पूरे दिन रजाई व कंबल में लिपटे रहे. कड़ाके की ठंड में घर से वही लोग बाहर निकल रहे हैं, जिन्हें जरूरी काम है. वहीं प्रशासन ने शीतलहर को देखते हुए 24 दिसंबर तक सभी सरकारी व निजी शिक्षण संस्थानों को बंद रखने का निर्देश दिया है. इधर, नगर पंचायत क्षेत्र में प्रशासन द्वारा चौक-चौराहों पर अलाव जलवाये जा रहे हैं, जिससे ट्रेन व बस से आने वाले यात्री अलाव तापकर ठंड से राहत पा रहे हैं. वहीं ग्रामीण इलाकों में लोग पुआल जलाकर अलाव का सहारा ले रहे हैं. शहर के लोग रूम हीटर चलाकर ठंड से बचाव की व्यवस्था बनाये हुए हैं. कड़ाके की ठंड का सबसे अधिक असर खेत-खलिहानों में काम कर रहे किसानों पर पड़ रहा है. इन दिनों किसान शीतलहर के बीच खेतों में गेहूं की फसल की सिंचाई में जुटे हुये हैं. वहीं क्षेत्र में धान की कटाई का कार्य भी अभी पूरा नहीं हो पाया है. ठिठुरन भरे मौसम में किसान जान जोखिम में डालकर खेतों में काम करने को मजबूर हैं. शीतलहर की चपेट में आकर पशु व पक्षी भी ठिठुरन के कारण दुबके हुए नजर आ रहे हैं. इधर कड़ाके की ठंड के साथ दिनभर घना कोहरा छाया रहा. कोहरे के कारण दिन में भी अंधेरा सा माहौल बना रहा, जिससे सड़कों पर चलना दुर्घटना को दावत देने जैसा साबित हो रहा है. कोहरे की वजह से सड़कों पर वाहनों की आवाजाही भी बेहद कम दिखी.
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