सिधवलिया. प्रभु की भक्ति के बिना कोई कार्य पूरा नहीं हो सकता और प्रभु की भक्ति बिना भक्त के नहीं मिल सकती. भगवान श्री राम की भक्ति पाने के लिए उनके परम भक्त मारुति नंदन श्रीहनुमान की भक्ति ही एकमात्र रास्ता है. ये बातें प्रखंड के जलालपुर में श्री हनुमंत प्राण प्रतिष्ठा मारुति नंदन महायज्ञ के चौथे दिन व्यास गद्दी से भक्तों को कथा सुनाते हुए अयोध्या धाम से पधारे श्रीरामकथा मर्मज्ञ विद्वान स्वामी रमाशंकर जी ने कहीं. उन्होंने कहा कि हनुमान जी ने भगवान राम की अनन्य भक्ति की, जिससे जो हनुमान जी की भक्ति करता है, वह सभी दुखों से दूर रहता है. कथा में उनके द्वारा प्रस्तुत अहिल्या उद्धार, ताड़का वध तथा सीता स्वयंवर की कथा सुनकर लोग मंत्रमुग्ध हो गये. उनके गाये भजन राम न मिलेंगे, हनुमान के बिना तथा सांवरे को दिल में बसा कर तो देखो पर लोग झूम उठे. इससे पहले कथा का शुभारंभ मुख्य अतिथि सेवानिवृत्त डीआइजी रामनारायण सिंह द्वारा कथा प्रवक्ता को अंगवस्त्र देकर तथा दीप प्रज्वलित कर किया गया. स्थानीय मुखिया गड़डू सिंह द्वारा मुख्य अतिथि रामनारायण सिंह को अंगवस्त्र तथा श्रीमद्भागवत गीता देकर सम्मानित किया गया. कार्यक्रम में उपप्रमुख प्रतिनिधि शुभनारायण जी,चंदन सोनी, पुष्पा देवी,अनिल यादव सहित हजारों श्रद्धालु उपस्थित थे.
डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

