डीएम ने नया आदेश जारी कर इंजीनियरिंग सेक्शन पर लगाया अंकुश
मुख्य संवाददाता, गया जी़
जिले के नये डीएम शशांक शुभंकर ने पदभार ग्रहण करने के साथ ही कुछ ऐसे निर्णय ले रहे हैं, जो हाल के वर्षों में नहीं देखा गया. सोमवार को समाहरणालय के सभाकक्ष में जिलास्तरीय पदाधिकारियों के साथ आपसी समन्वय संबंधित साप्ताहिक समीक्षा बैठक में डीएम ने एक ऐसा ही आदेश जारी कर दिया, जो इंजीनियरिंग सेक्शन में व्याप्त भ्रष्टाचार पर सीधे प्रहार करेगा. इंजीनियरिंग सेक्शन में व्याप्त कमीशनखोरी व भ्रष्टाचार पर अंकुश लगाने को लेकर डीएम ने सभी इंजीनियरिंग विभाग के अभियंताओं को निर्देश दिया है कि हर सप्ताह दो दिन अपने कार्यालय में भी जनता दरबार लगाएं. उन्होंने पथ निर्माण विभाग, भवन निर्माण विभाग, जल संसाधन विभाग, लघु जल सिंचाई विभाग, ग्रामीण कार्य विभाग सहित ऐसे इंजीनियरिंग विभागों के वरीय अधिकारियों को आदेश दिया है कि अपने-अपने कार्यालय में लगाये जाने वाले जनता दरबार से संबंधित समयसारिणी की सूची उनके दफ्तर में भेजें, ताकि सोशल मीडिया और वेबसाइट के माध्यम से लोगों को जानकारी उपलब्ध कराया जा सके. हालांकि, डीएम के इस फैसले की चर्चा पूरे दिन समाहरणालय परिसर सहित अन्य विभागों के वरीय अधिकारियों के बीच होती रही. क्योंकि, विकास योजनाओं को क्रियान्वित करने वाले इंजीनियरिंग सेक्शन से जुड़े अधिकारियों को लेकर यह पहली बार हो रहा है कि उन्हें जनता दरबार लगाना है. यह तब हो रहा है, जब इंजीनियरिंग सेक्शन से जुड़े अधिकारियों से किसी आम आदमी को मुलाकात करना संभव नहीं होता है. उनकी मुलाकात या तो वरीय अधिकारियों से होती है या फिर ठेकेदारों से. किसी योजना से संबंधित शिकायत लेकर जानेवाले आम लोगों को यूं ही उनके कार्यालय से लौट जाना पड़ता था. लेकिन, अब डीएम का आदेश जारी होने के बाद इंजीनियरिंग सेक्शन के अधिकारियों पर लगाम लगने की संभावना प्रबल हो गयी है और सरकारी योजनाओं के क्रियान्वयन में व्याप्त भ्रष्टाचार पर अंकुश लगेगा.22 योजनाओं के क्रियान्वयन के प्रति हों सजग
इस दौरान डॉ आंबेडकर समग्र विकास अभियान की समीक्षा करते हुए डीएम ने अधिकारियों से कहा कि यह राज्य सरकार की महत्वपूर्ण अभियान है. इसमें 22 प्रकार की योजनाएं हैं. इसे हर टोले के हर व्यक्ति तक लाभ पहुंचाने में मदद करें. शिविर में आने वाले सभी आवेदनों को निष्पादित करें. राशन कार्ड संबंधित 12390 में से 8926 आवेदनों का निबटारा किया गया है. औपचारिक शिक्षा के लिए विद्यालय में दाखिल संबंधित 11876 में से 11521 बच्चों का नामांकन कराया गया है. शेष बच्चों का तेजी से नामांकन कराने का निर्देश संबंधित शिक्षा विभाग के अधिकारी को दिया. इसके पश्चात डीएम ने आगनबाड़ी केंद्रों में बच्चों का नामांकन, आधार कार्ड निर्माण, कुशल युवा कार्यक्रम, इ-श्रम कार्ड, आयुष्मान कार्ड निर्माण, आवास योजना का लाभ, बास भूमि/ बासगीत पर्चा, सामाजिक सुरक्षा, बुनियाद केंद्र, हर घर नल जल, मनरेगा जॉब कार्ड, बिजली कनेक्शन इत्यादि के आवेदनों के निष्पादन की समीक्षा की. वहीं, नीलाम पत्र वादों की समीक्षा के क्रम में डीएम ने सभी संबंधित अधिकारियों को सर्वोच्च प्राथमिकता में रखकर तेजी से निष्पादन करने का निर्देश दिया. उन्होंने कहा कि सभी नीलाम पत्र पदाधिकारी बड़े राशि वाले कम-से-कम पांच मामलों का चयन कर उसका निष्पादन करें. मुख्यमंत्री के जनता दरबार व जिलास्तरीय जनता दरबार में प्राप्त आवेदनों के निष्पादन की समीक्षा के क्रम में लंबित मामलों को उचित समाधान कराने का निर्देश दिया. डीएम ने उपस्थित पदाधिकारियों को निर्देश दिया कि जन शिकायतों को सर्वोच्च प्राथमिकता के साथ समय से निष्पादन करना सुनिश्चित करें. उन्होंने स्पष्ट रूप से कहा कि साप्ताहिक समीक्षा बैठक का परिणाम नजर आनी चाहिए व लंबित मामलों को हर हाल में शून्य करें.जनता दरबार में आ रही शिकायतों का करें निराकरण
डीएम ने कहा कि उनके दैनिक जनता दरबार व हर शुक्रवार को आयोजित जनता दरबार में आनेवाले मामलों को संबंधित विभाग को निराकरण के लिए भेजा जा रहा है. आवेदनों को देख कर मामलों का उचित निराकरण/ समाधान कराएं, आवेदक काफी उम्मीद लगाकर आते हैं. उन्होंने कहा क उच्च न्यायालय में लंबित मामलों को सर्वोच्च प्राथमिकता में रखकर कार्य करें. इसमें थोड़ी भी शिथिलता या लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जायेगी. इस समीक्षा के क्रम में सीडब्ल्यूजेसी एमजेसी के मामलों में समय पर शपथ पत्र दायर कराने को कहा है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

