बोधगया. अंतरराष्ट्रीय पर्यटन स्थल बोधगया की सड़कों को साफ-सुथरा रखने व मुहल्लों में भी कचरे का अंबार नहीं दिखने को लेकर नगर पर्षद ने अब नियमावली का हवाला देते हुए सख्त कदम उठाना शुरू कर दिया है. इसके तहत बोधगया नगर क्षेत्र में यत्र-तत्र कचरा फेंकने व फैलाने वालों पर कार्रवाई की तैयारी भी शुरू हो गयी है. बोधगया नगर पर्षद की ओर से जारी सूचना में यह कहा गया है कि पर्यावरण संरक्षण अधिनियम 1986 की धारा 15-1 के अंतर्गत इसका उल्लंघन एक दंडनीय अपराध है व इसके तहत एक लाख रुपये तक का जुर्माना अथवा पांच वर्षों का कारावास या दोनों की सजा भुगतना पड़ सकता है. इस कारण ठोस अपशिष्टों यानी कचरे को सार्वजनिक स्थलों पर खुले में अथवा नदी, तालाब, प्राकृतिक जलश्रोतों, गली व नालियों में कचरे को फेंकने पर पूर्ण प्रतिबंध किया गया है. कहा गया है कि ऐसा करने से जल, वायु व मिट्टी के प्रदूषित होने का खतरा है. इसके लिए ठोस अवशिष्ट प्रबंधन नियमावली 2016 के नियम 4-2 का हवाला दिया गया है. बोधगया नगर पर्षद के माध्यम से आम लोगों को सूचित किया गया है कि अपना कचरा डोर-टू डोर कचरा कलेक्शन वाली गाड़ी को दें या निर्धारित स्थलों पर रखे डस्टबिनों में ही कचरे को डालें अन्यथा यत्र-तत्र कचरे को फेंकने व फैलाने वालों पर नियमसंगत कार्रवाई की जायेगी. यह भी अपील की गयी है कि अपने शहर को साफ-सुथरा रखने की जिम्मेदारी हमारी अपनी है. उल्लेखनीय है कि बोधगया की सड़कों पर यहां आने वाले देशी-विदेशी श्रद्धालु व सैलानी पैदल भ्रमण कर मंदिरों तक पहुंचते हैं व बोधगया को देखना चाहते हैं. लेकिन, सड़कों के किनारे व यत्र-तत्र फैले कचरों के कारण उन्हें परेशानी होती है. कार्यपालक पदाधिकारी अभिषेक आनंद ने बताया कि डस्टबिनों से कचरे का उठाव के साथ ही डोर-टू -डोर कचरे का कलेक्शन किया जाता है. फिर भी लोग डस्टबिनों के बाहर व सड़कों पर कचरा फेंक दे रहे हैं. अब इस दिशा में सख्त कदम उठाये जायेंगे.
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