ब्रह्मपुर. महिलाओं और छात्राओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए बिहार पुलिस ने जिले में अभया ब्रिगेड गठित करने का फैसला किया है. यह ब्रिगेड स्कूल, कॉलेज, हॉस्टल, कोचिंग संस्थानों और निर्जन स्थलों के आसपास विशेष निगरानी करेगी और रोमियो तथा मनचलों के खिलाफ तुरंत कार्रवाई करेगी. सरकार के निर्देश पर थाना स्तर पर एक-एक अभया ब्रिगेड गठित की जायेगी, जो महिलाओं के खिलाफ अपराधों की रोकथाम में सक्रिय भूमिका निभायेगी. प्रत्येक टीम की प्रभारी एक महिला पुलिस अवर निरीक्षक होगी. टीम में प्रभारी के अलावा तीन अन्य सिपाही शामिल रहेंगे, जिनमें एक महिला सिपाही और दो पुरुष सिपाही होंगे. अभया ब्रिगेड की टीम को तेज़ी से कार्रवाई करने के लिए स्कूटी और अन्य वाहन उपलब्ध कराये जायेंगे. इससे न केवल महिलाओं और छात्राओं को सुरक्षा मिलेगी, बल्कि जिले में अपराध की घटनाओं को भी कम करने में मदद मिलेगी. 15 दिनों पर होगी समीक्षा: महिला और बालिकाओं की सुरक्षा को बढ़ावा देने के लिए बिहार पुलिस ने जिले के सभी थाना स्तर पर अभया ब्रिगेड का गठन किया है. पुलिस मुख्यालय के पत्र के अनुसार, प्रत्येक ब्रिगेड में तीन सिपाही तैनात रहेंगे और यह दल संबंधित थानाध्यक्ष के नियंत्रण में काम करेगा. अभया ब्रिगेड दुष्कर्म, अपहरण, छेड़खानी और चेन स्नैचिंग जैसी घटनाओं पर नजर रखेगी. इसकी समीक्षा प्रत्येक 15 दिन पर हेडक्वार्टर स्तर पर की जायेगी. ब्रिगेड को जिले से आवश्यक संसाधन उपलब्ध कराये जायेंगे और भ्रमण के लिए बाइक और स्कूटी का उपयोग किया जायेगा. थाना क्षेत्र की भौगोलिक परिस्थितियों का अध्ययन करते हुए ब्रिगेड स्कूल, कॉलेज, हॉस्टल और कोचिंग संस्थानों के आसपास आने-जाने वाले रास्तों को हॉटस्पॉट के रूप में चिन्हित करेगी, जहां छेड़छाड़ जैसी घटनाएं होती हैं. टीम वर्दी और सादे लिबास दोनों में सक्रिय रहेगी और मौके पर आरोपी की पहचान कर कानूनी कार्रवाई करेगी. बार-बार पकड़े जाने वाले मनचलों के नाम को ‘गुंडा रजिस्टर’ में दर्ज किया जायेगा. यदि किसी मामले में नाबालिग पकड़ा जाता है, तो पहले उसकी काउंसलिंग की जायेगी. लगातार अपराध करने पर उसका सोशल इन्वेस्टिगेशन रिपोर्ट तैयार कर किशोर न्याय परिषद को भेजा जायेगा. इस पहल से महिलाओं और छात्राओं को सुरक्षा और आत्मविश्वास दोनों मिलेगा.
पुलिस मुख्यालय में जमा होगी ‘एक्शन टेकन रिपोर्ट’
अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी दल की कार्रवाई की लगातार समीक्षा करेंगे. पुलिस मुख्यालय की ओर से जारी गाइडलाइन में यह भी आदेश दिया गया है कि जिले के एसएसपी-एसपी हर महीने की 15 तारीख से पहले ‘एक्शन टेकन रिपोर्ट’ तैयार करेंगे. यह रिपोर्ट पुलिस मुख्यालय को भेजी जायेगी. ऐसे में यदि किसी भी स्तर पर लापरवाही पायी जाती है, तो थानाध्यक्ष और एसडीपीओ जिम्मेदार माने जायेंगे.
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